क्षेत्रीय भाषाओं की बदौलत प्रिंट मीडिया पाठकों की संख्या 42 करोड़ तक पहुंची… मीडिया रिसर्च यूजर्स काउंसिल (एमआरयूसी) द्वारा 2019 की पहली तिमाही के लिए इंडियन रीडरशिप सर्वे (आईआरएस) की रिपोर्ट जारी कर दी गई है। इसमें शीर्ष 10 अखबारों की सूची में अंग्रेजी का केवल एक अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया है। यह अंग्रेजी अखबार एक करोड 52 लाख 36 हजार की पाठक संख्या के साथ नौवें स्थान पर है।
दैनिक जागरण सात करोड़ 36 लाख 73 हजार पाठक संख्या के साथ पहले स्थान पर है। दैनिक भास्कार 5.14 करोड़ पाठकों के साथ दूसरे स्थान पर है। अमर उजाला पाठक संख्या 4.76 करोड़ के साथ तीसरे स्थान पर है। हिन्दुस्तान और हिन्दुस्तान टाइम्स के आंकड़े जारी नहीं किए गए हैं क्योंकि अभी इनकी समीक्षा की जा रही है। कुछ हफ्तों बाद हिंदुस्तान समूह के आंकड़े जारी होने पर रैंकिंग में बदलाव आने के आसार हैं।
मीडिया रिसर्च यूजर्स काउंसिल (एमआरयूसी) द्वारा 2019 की पहली तिमाही के लिए इंडियन रीडरशिप सर्वे (आईआरएस) की जारी रपट में कहा गया है कि प्रिंट उद्योग बढ़ रहा है। रपट में आईआरएस के 2017 के सर्वेक्षण के तुलनात्मक अध्ययन के आधार पर कहा गया है कि तब से अब तक पाठकों की संख्या में 1.8 करोड़ की वृद्धि दर्ज की गयी है, जबकि पत्रिकाओं के 90 लाख अतिरिक्त पाठक हुये हैं।
पूरी दुनिया में जहां एक तरफ प्रिंट मीडिया उद्योग ढलान पर है, वहीं भारत में हिंदी पत्र-पत्रिकाओं सहित क्षेत्रीय भाषाओं के मीडिया के योगदान की बदौलत प्रिंट मीडिया के पाठकों की संख्या बढ़कर 42.5 करोड़ तक पहुंच गयी। इस वृद्धि में हिंदी समाचार पत्रों का योगदान सबसे अधिक रहा है क्योंकि इसके पाठकों की संख्या एक करोड़ तक बढ़ी है। क्षेत्रीय भाषाओं और अंग्रेजी पत्रों के पाठकों की संख्या भी बढ़ी है। आईआरएस यानि इंडियन रीडरशिप सर्वे के जरिए प्रिंट मीडिया के पाठकों का अध्ययन किया जाता है।
इस बीच, अमर उजाला प्रबंधन ने अपने अखबार में खबर छाप कर खुद को देश का तीसरा सबसे बड़ा अखबार बताया है. मीडिया रिसर्च यूजर्स काउंसिल (एमआरयूसी) द्वारा शुक्रवार को जारी प्रिंट मीडिया इंडस्ट्री के आंकड़ों के मुताबिक ‘अमर उजाला’ देश का तीसरा सबसे ज्यादा पढ़ा जाने वाला समाचार पत्र है। इंडियन रीडरशिप सर्वे (आईआरएस) की 2019 के पहले क्वार्टर की अभी तक प्रकाशित रिपोर्ट के अनुसार ‘अमर उजाला’ के पाठकों की कुल संख्या चार करोड़, 76 लाख, 45 हजार है। यह काउंसिल द्वारा इससे पहले 2017 में जारी वार्षिक आंकड़ों से 15 लाख 51 हजार पाठक अधिक है।
एमआरयूसी के चेयरमैन आशीष भसीन ने मुंबई में रिपोर्ट जारी करते हुए बताया कि गांवों, शहरों और महानगरों के तीन लाख 24 हजार घरों से लिए गए आंकड़ों का अध्ययन कर यह सर्वे तैयार किया गया है। उन्होंने कहा कि यह धारणा एक बार फिर टूटी है कि इंटरनेट की वजह से समाचार पत्रों के पाठक कम हो रहे हैं। भसीन के अनुसार प्रिंट मीडिया तेज रफ्तार से बढ़ रहा है और पिछले सर्वे के 40 करोड़ 70 लाख के मुकाबले आज इसके पाठकों की संख्या 42 करोड़ 50 लाख हो चुकी है।
यह भी सच है कि देश में इंटरनेट इस्तेमाल करने वालों की संख्या 38 करोड़ 41 लाख हो गई है। आम जीवन में अंग्रेजी के बढ़ते प्रभाव के बावजूद हिंदी का वर्चस्व कायम है और देश के शीर्ष 10 समाचार पत्रों में पांच हिंदी के हैं। एमआरयूसी ने कहा कि वह 2017 के बाद विभिन्न कारणों से आंकड़े जारी नहीं कर सका था परंतु अब वह नियमित रूप से प्रत्येक क्वार्टर में रीडरशिप सर्वे प्रकाशित करेगा। इससे मीडिया की स्पष्ट तस्वीर बढ़ते-जागरूक पाठकों और तेजी से बदलते बाजार के सामने रहेगी।
नीचे टेबल है, देश के सर्वाधिक पाठक संख्या वाले सभी भाषाओं के टॉप टेन अखबारों के. हिंदुस्तान अखबार के आंकड़े कुछ हफ्तों बाद आने के बाद इस क्रम में उठापटक होगी, यह भी तय है. फिलहाल जो सीन है, उसे देखें-
IRS 2019 Q1
रैंकिंग-अखबार-पाठक संख्या
1-Dainik Jagran 7,36,73,000
2-Dainik Bhaskar 5,14,05,000
3-Amar Ujala 4,76,45,000
4-Daily Thanthi 2,40,54,000
5-Lokmat 1,96,91,000
6-Rajasthan Patrika 1,80,36,000
7-Malayala Manorama 1,74,77,000
8-Eenadu 1,56,73,000
9-Times of India 1,52,36,000
10-Prabhat Khabar 1,41,02,000
अपडेट- उपरोक्त खबर के प्रकाशन के काफी दिन बाद हिंदुस्तान का भी रिजल्ट आया, जिसे जानने के लिए नीचे दिए शीर्षक पर क्लिक करें-