राजीव मिश्रा को मीडिया में नौकरी नहीं मिली तो अब वे कार्पोरेट के हिस्से बन गए हैं. जानी मानी कंपनी सैमसंग के साथ वो जुड़ गए. राजीव का यहां काम पीआर देखना और लायजनिंग करना होगा. इसके लिए उन्हें पद दिया गया है वाइस प्रेसीडेंट (मीडिया). इसी माह के पहले हफ्ते से राजीव ने सैमसंग इंडिया के साथ नई पारी शुरू कर दी. सैमसंग बहुराष्ट्रीय कंपनी है और इसका मुख्यालय सियोल में है. राजीव मिश्रा इससे पहले लोकसभा टीवी के सीईओ हुआ करते थे. राजीव ने बतौर लोकसभा सीईओ ढेर सारे नेताओं-मंत्रियों का मीठा-मीठा इंटरव्यू किया.
राजीव मिश्रा की हरकतों और पालाबदलू स्वभाव के कारण लोकसभा अध्यक्ष के रूप में अपने अंतिम कार्यकाल के दौरान मीरा कुमार ने उन्हें बर्खास्त कर दिया था. तब राजीव ने इस बर्खास्तगी को भी हथियार के रूप में इस्तेमाल करते हुए नई भाजपा सरकार के सामने खुद को पीड़ित के रूप में पेश किया और सबको बताया कि उन्हें इसलिए बर्खास्त किया गया क्योंकि लोकसभा टीवी पर सासाराम संसदीय निर्वाचन क्षेत्र से मीरा कुमार के चुनाव हारने की खबर दिखाई गई. सोचा जा सकता है कि कोई नेता अगर चुनाव हार गया है तो वह हारने की खबर दिखाए जाने से क्यों नाराज होगा. ये राजीव मिश्रा की करनी थी जिसके कारण जाते जाते मीरा कुमार ने उन्हें बर्खास्त कर अपनी गलती सुधारने की कोशिश की.
अपने करियर में राजीव मिश्रा कभी पत्रकार तो कभी मैनेजर के रूप में सक्रिय रहे हैं. उन्होंने हिन्दुस्तान टाइम्स में सब एडिटर के रूप में काम किया तो स्टार टीवी में मैनेजर (प्रोग्रामिंग) बन गए. जी टीवी में सीनियर मैनेजर (कॉरपोरेट) बने तो रिलायंस इन्फोकॉम लिमिटेड में जनरल मैनेजर (कॉरपोरेट अफेयर्स) बन गए. बीएजी में सीओओ रहे तो इंडिया न्यूज में भी सीओओ के रूप में काम किया. मतलब जब जहां जैसी नौकरी मिली, वैसा कर लिया।
Comments on “मीडिया में नौकरी न मिलने पर कार्पोरेट के हिस्से बने राजीव मिश्रा, सैमसंग संग नई पारी शुरू”
Jisme hur kam karne ka talent ho wahi har tarah ke kam kar sakta hai. Ye sab ke bus ki bat nahi.
Congratulations Rajeev Sir for new endeavor wisihing u all the best.
ये डैरिक लारेंस लगता है इग्लैंड से आया है, इसे भारतीय पत्रकारिता के बारे में जानकारी नहीं है। ये पक्के दलाल हैं, मीठी मीठी बातें कर के नेताओं के बहुत काम निकलवाए हैं। और यह बीजेपी को पटाकर नया पद हासिल करने की चाल है कि पूर्व लोकसभा अध्यक्क्सश ने हारने की खबर से नाराज होकर हटाया। पहले के भी कारनामें चर्चा में थे, यह हश्र तो होना ही था।
Enhone jo kiya achchha kiya……
इनके साथ जो हुआ, अच्छा हुआ।
jai ho……………………..
sab paise ki aur bhag rhe hai kam ki aur nhi
jai ho…………….
sab paise aur nam ke liye bhag rhe hai…………. kuch alag to nhi kiya patrkarita k liye