सुजीत सिंह प्रिंस-
यूपी में प्राथमिक शिक्षा विभाग की हालत बहुत ख़राब है। करप्शन-उगाही में लिप्त बेइमान अफ़सर चौड़े होकर कुर्सी तोड़ रहे हैं। दिखावे के लिए अभी तो सिर्फ़ मोहरों पर कार्रवाई कर ख़ानापूर्ति की जा रही है।
ग़ाज़ीपुर के करंडा के महाभ्रष्ट खंड शिक्षा अधिकारी रमेश श्रीवास्तव को बचाने में पूरा विभाग जुटा हुआ है। इस भ्रष्ट अफ़सर के दो वसूली एजेंटों को सस्पेंड कर दिया गया है। पर मुख्य आरोपी अभी भी पद पर बना हुआ है।
रमेश श्रीवास्तव पद पर रहते हुए अपने ख़िलाफ़ आवाज़ उठाने वाले शिक्षकों को धमका रहा है, झूठे आरोप लगाते हुए नोटिस भेज रहा है। ऐसा लग रहा कि इस भ्रष्ट अफ़सर के तार काफ़ी ऊपर तक जुड़े हुए हैं।
महा भ्रष्ट रमेश श्रीवास्तव के लिए उगाही एजेंट बनकर काम करने वाले दो शिक्षकों को निलंबित कर दिया गया है…
देखिए शिक्षक मनोज कुमार सिंह का सस्पेंशन आदेश-
देखिए शिक्षक राजेश सिंह का सस्पेंशन आदेश-
बड़ा सवाल है कि बीईओ लाला रमेश श्रीवास्तव कब सस्पेंड होंगे? कहा जा रहा है कि रमेश श्रीवास्तव के ख़िलाफ़ जाँच चल रही है। पर ये कैसी जाँच है जिसमें आरोपी पद पर बने रहकर अपनी करतूतों का खुलासा करने वाले शिक्षकों को धमका रहा है, झूठे नोटिस भेज रहा है?
वैसे ये प्रकरण दबने वाला नहीं है। न्यूज़ पोर्टलों के अलावा अब स्थानीय अख़बारों ने भी मुद्दे को प्रमुखता से कवर करना शुरू कर दिया है। देखें दैनिक जागरण में प्रकाशित खबर-
अपडेट…. अभी अभी… (तीन बजे शाम, 24-3-2022)…
गाजीपुर के भ्रष्ट ब्लाक शिक्षा अधिकारी रमेश श्रीवास्तव पर गिरी गाज, हुए सस्पेंड
मूल खबर-
रिश्वतखोर खंड शिक्षा अधिकारी की करतूत लखनऊ तक पहुँची, जाँच के आदेश जारी, हो सकता है निलंबन
ग़ाज़ीपुर से सुजीत सिंह प्रिंस की रिपोर्ट.