शादी का झांसा देकर पहले पति से तलाक दिलाना फिर खुद लगातार बलात्कार करने वाले भास्कर समूह के चेयरमैन रमेश चंद्र अग्रवाल के कुकर्मों पर किताब लिखने की तैयारी कर रही है रेप पीड़िता. भड़ास4मीडिया से बातचीत में जयपुर निवासी 45 वर्षीय पीड़िता ने बताया कि रमेश चंद्र अग्रवाल ने जो जो किया, कहा और जिया है, उस वह किताब में लिखेगी. पीड़िता का कहना है कि मीडिया का उसे बिलकुल सपोर्ट नहीं मिल रहा है. कोर्ट में सुनवाई के दौरान ईटीवी से लेकर पत्रिका तक के लोग जाते हैं लेकिन कोई खबर छापता दिखाता नहीं है. साथ ही पूरे मामले में पुलिस प्रशासन का रोल भी नकारात्मक है.
पीड़िता के मुताबिक वह तो बिलकुल सड़क पर आ गई हैं. रमेश चंद्र अग्रवाल के कहने पर उन्होंने अपने पति को तलाक दिया. जब शादी की बारी आई तो रमेश चंद्र अग्रवाल ने उनका इस्तेमाल करके छोड़ दिया. एक समय था जब रमेश चंद्र अग्रवाल कहते थे कि वे किसी भी हालत में साथ नहीं छोड़ेंगे. लेकिन जब उनके बेटों ने उन पर दबाव बनाया तो वे चुप्पी साध कर किनारे हो गए. पीड़िता के मुताबिक उन्होंने कई बार कहा कि उन्हें कोई संपत्ति या संपत्ति में हिस्सा नहीं चाहिए. संपत्ति में हिस्सा न लेने की बात उन्होंने लिखकर देने को भी कहा. लेकिन रमेश चंद्र अग्रवाल अपनी आदत के मुताबिक इज्जत और भावनाओं से खेलकर अलग हो गए और उल्टे आरोप लगा दिया कि महिला ही ब्लैकमेलर है.
पीड़िता ने बताया कि लोअर कोर्ट और हाईकोर्ट दोनों जगहों पर इसी 29 अक्टूबर को मामले की सुनवाई है. वह किसी भी हालत में यह लड़ाई बंद नहीं करने वाली हैं. उन्होंने बताया कि उन्होंने और उनके वकील ने जयपुर में प्रेस कांफ्रेंस कर पूरे मामले के बारे में मीडिया को बताया लेकिन किसी मीडिया हाउस ने खबर का प्रकाशन नहीं किया. इससे वो निराश हैं लेकिन उन्हें उम्मीद है कि आने वाले दिनों में लोग उनके साथ खड़े होंगे और न्याय की लड़ाई में साथ देंगे. पीड़िता ने साफ कहा कि उनका मकसद न तो कभी किसी को ब्लैकमेल करने का रहा है और न ही धन पाने का. वह तो प्रेम और भावना में बह कर रमेश चंद्र अग्रवाल की बातों पर भरोसा कर बैठीं जिसका खामियाजा अब भुगतना पड़ रहा है. ऐसे धोखेबाज, कुकर्मी, घटिया इंसान के खिलाफ अपनी लड़ाई वह जारी रखेंगी और दंड दिलाकर ही मानेंगी, भले ही इसके लिए जितना संघर्ष करना पड़े.
भड़ास के एडिटर यशवंत सिंह की रिपोर्ट.
मूल खबर…
Comments on “रमेश चंद्र अग्रवाल के कुकर्मों पर रेप पीड़िता लिख रही हैं किताब, मामले की कोर्ट में सुनवाई 29 अक्टूबर को”
सरकार को व्हीआईपी के लिए अलग से कानून बनाना चाहिए। कानून और पुलिस वाले तो सिर्फ गरीबों व मिडिल क्लस पर रौब झाड़ने वाले प्राणी है। हाई क्लास के तलवे चाटते है।
Desh ka naya Aasharam Bapu.
NAYE AASHARAM BAPU KA AVTAR.