दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पीत पत्रकारिता करने वाले तीन न्यूज चैनलों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने के आदेश दिए हैं. ये चैनल हैं- जी न्यूज, इंडिया न्यूज और टाइम्स नाऊ. दिल्ली सरकार पहले इन चैनलों से पूछेगी कि बिना किसी जांच पड़ताल के आपने कैसे कन्हैया से जुड़े वो वीडियो चलाए जो फेक थे. साथ ही यह भी पूछा कि जांच के बाद जब यह बात साफ हो गई कि वीडियो फर्जी थे तो इस पीत पत्रकारिता पर आपने क्या सार्वजनिक रूप से माफी मांगी?
दिल्ली सरकार ने इन तीन न्यूज चैनलों पर कानूनी कार्रवाई का मन बना लिया है क्योंकि इन्होंने कन्हैया मामले में डॉक्टर्ड वीडियो चलाया था. केजरीवाल की जद में वो चैनल आ गए हैं जो सीधे तौर पर कन्हैया के विरोध में इसलिए उतर आए थे क्योंकि उन्हें जन पत्रकारिता की जगह एजेंडा पत्रकारिता पसंद है. कुल मिलाकर मोदी सरकार के प्रवक्ता की तरह काम करने वाले न्यूज चैनलों से केजरीवाल दो दो हाथ करने के लिए तैयार हो चुके हैं. केजरीवाल को भी जेएनयू मामले में घसीटा गया था और कई चैनल कन्हैया प्रकरण को केजरीवाल का गुप्त एजेंडा बता रहे थे. इससे अरविंद केजरीवाल नाराज हैं.
बात बात पर केजरीवाल के कपड़े फाड़ने पर उतारू और मोदी की जयगान करने वाले चैनलों को सबक सिखाने के लिए केजरीवाल के पास सही मौका है. इसी कारण दिल्ली सरकार ने उन तीन चैनल के खिलाफ एक्शन लेने का आदेश दे दिया है, जिन्होंने जेएनयू के छात्र संघ के नेता कन्हैया कुमार मामले में डॉक्टर्ड विडियो प्रसारित किया है. यह फैसला केजरीवाल के इशारे पर उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने लिया है. मनीष के पास राजस्व मंत्रालय भी है. राजस्व मंत्रालय के तहत ही फर्जी वीडियो की जांच की जा रही थी. सूत्रों का कहना है कि आरोपी चैनल के खिलाफ मंत्री मनीष सिसोदिया ने कार्रवाई करने का आदेश दिया है. इन चैनलों में सबसे पहले जी न्यूज, उसके बाद इंडिया न्यूज और फिर टाइम्स नाउ शामिल है.
ज्ञात हो कि दिल्ली सरकार की तरफ से जेएनयू विवाद के सिलसिले में मजिस्ट्रेट जांच कराया गया था. इस आधार पर तीन टीवी न्यूज चैनलों को दोषी पाया गया. अब इनके खिलाफ आपराधिक मुकदमा दायर करने का फैसला किया गया है. मजिस्ट्रेट जांच में पाया गया था कि इन न्यूज चैनलों ने जेएनयू में पिछले दिनों हुए एक विवादित कार्यक्रम का ऐसा वीडियो प्रसारित किया था जिसमें छेड़छाड़ की गई थी. प्रसारित वीडियो में जेएनयू छात्रसंघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार को भी दिखाया गया था. दिल्ली सरकार ने कानूनी टीम को आदेश दिया है कि वह उन तीन चैनलों के खिलाफ कार्रवाई शुरू करे जिनके नाम का जिक्र नई दिल्ली जिले के जिलाधिकारी (डीएम) की रिपोर्ट में किया गया है. सीआरपीसी की धारा 200 के तहत एक स्थानीय अदालत का रुख किया जाएगा. इसके तहत कोई शिकायत प्राप्त करने पर न्यायिक मजिस्ट्रेट अपराध का संज्ञान लेता है.
इससे पहले, माकपा महासचिव सीताराम येचुरी और जदयू नेता के सी त्यागी ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से मुलाकात की और ऐसे न्यूज चैनलों पर कार्रवाई की मांग की जिन्होंने जेएनयू विवाद पर ऐसे वीडियो दिखाए जिनसे ‘‘छेडछाड’ की गई थी. दिल्ली सरकार की ओर से कराई गई मजिस्ट्रेट जांच में पाया गया था कि हैदराबाद की फॉरेंसिक लैब को भेजे गए सात वीडियो में से तीन से छेडछाड की गई थी, जिसमें एक न्यूज चैनल की क्लिपिंग भी थी.
sandeep
March 8, 2016 at 6:38 am
abhi abhi arvind kejrival ki dilli sarkar ka gungan india news per chal raha tha …. usi chanel per kejrival karyavahi karyavahi kar rahe hai …. kuch hajam nahi hua