कई दिन चुप्पी साधे रहे जागरण और अमर उजाला का आज एक साथ आईआरएस रिपोर्ट पर अटैक, निशाने पर ‘हिंदुस्तान’

इंडियन रीडरशिप सर्वे रिपोर्ट जारी होने के दिन से चुप्पी साधे रहे और आज लगभग एक सप्ताह बाद दैनिक जागरण और अमर उजाला ने एक साथ हमला बोलते हुए अपने पहले पेज पर लिखा है कि इंडियन रीडरशिप सर्वे 2014 ने फिर झूठे आंकड़ों के दम पर पाठकों को गुमराह करने की नाकाम और ओछी कोशिश की है। उसने तीन चौथाई झूठ के साथ एक चौथाई सच मिलाकर नई बोतल में पुरानी शराब पेश कर दी है। ये सर्वे रिपोर्ट गलतियों का पुलिंदा है। दैनिक जागरण ने रिपोर्ट को ‘नई बोतल में पुरानी शराब’ कहा है। जागरण ने आज नाक-भौंह सिकोड़ते हुए लिखा है कि ‘नई बोतल में तीन हिस्से पुरानी शराब भरना, उसमें थोड़ी नई शराब डालना और उसे पूरी तरह नई बताकर पेश करना, लोगों को भ्रमित करना है।’ दबे स्वर में दैनिक हिंदुस्तान को भी निशाने पर लिया गया है। हिंदुस्तान ने सर्वे रिपोर्ट जारी होने के बाद ही अपनी ‘बादशाहत’ का गुणगान कर लिया था। उसने अपनी प्रथम पेज पर प्रकाशित खबर में लिखा था कि किस तरह वह अमर उजाला और दैनिक जागरण से आगे है। उल्लेखनीय है कि अपने कार्यक्षेत्र में जागरण और अमर उजाला एक दूसरे के कट्टर प्रतिद्वंद्वी हैं लेकिन ये साझा जुगाली अचंभित करने वाली है। लगता है कि दोनो ने हिंदुस्तान को अपना मुख्य प्रतिद्वंद्वी मान लिया है। यानी हिंदुस्तान इनकी चादर छोटी कर रहा है।

पंकज श्रीवास्तव ने ‘अमर उजाला’ को कहा बॉय-बॉय, पहुंचे ‘आज तक’

‘अमर उजाला डॉट कॉम’ के साथ लंबे समय से काम कर रहे पंकज कुमार श्रीवास्तव ने संस्थान को अलविदा कह दिया है। उन्होंने सोमवार से अपनी नई पारी ‘आज तक’ के साथ शुरू कर दी है। वह ‘आजतक’ के आनलाइन पोर्टल पर बतौर असिस्टेंट एडिटर काम करेंगे। पंकज पिछले नौ वर्षों से ‘अमर उजाला’ से जुड़े …

अमर उजाला ने लखनऊ में दैनिक जागरण को पटका, बना नंबर वन

लखनऊ : हिंदी दैनिक ‘अमर उजाला’ ने दावा किया है कि उत्तर प्रदेश के लखनऊ जिले में उसकी प्रसार संख्या अन्य समाचारपत्रों की प्रसार संख्या की तुलना में सबसे अधिक हो गई है। अपने 17 मार्च 2015 के अंक में प्रथम पृष्ठ पर अखबार ने लखनऊ के पाठकों का शुक्रिया अदा करते हुए लिखा है कि ‘जुलाई से दिसंबर 2014 तक की ऑडिट ब्यूरो ऑफ सर्कुलेशन (एबीसी-ABC) की रिपोर्ट के अनुसार अमर उजाला अपने सभी प्रतिद्वंद्वियों की तुलना में आगे निकल गया है।’