हिंदुस्तान अखबार के पत्रकार नवीन की गोली मार कर हत्या

आज कानपुर के बिल्हौर इलाके में दैनिक हिंदुस्तान के रिपोर्टर नवीन की गोली मार कर हत्या कर दी गयी। पत्रकार नवीन जी की हत्या से कानपुर के सभी मीडियाकर्मी स्तब्ध और व्यथित हैं। कल शाम 4 बजे गीता नगर कानपुर कार्यालय पर इस बाबत एक शोक सभा का आयोजन किया जाएगा। इसी में आगे की रणनीति भी तय की जाएगी। आल इंडियन रिपोर्टर्स एसोसिएशन (आईरा) पत्रकारों का कहना है कि वह इस प्रकार जारी पत्रकारों के संहार को कदापि बर्दाश्त नहीं करेगी।

छात्रसंघ की मांग को लेकर महात्मा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय में विरोध प्रदर्शन

महात्मा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा (महाराष्ट्र) में विद्यार्थियों के छात्र संघ की मांग को लेकर मौखिक रुप से स्वीकार करते हुए विश्वविद्यालय के कुलपति  प्रोफेसर  गिरीश्वर मिश्र आश्वासन दिया है कि छात्र संघ से संबंधित निर्णय ले लिया गया है ।जिसके विषय में जल्द ही विश्वविद्यालय की वेबसाइट पर सूचना अपडेट करा दी जाएगी। ज्ञात हो की छात्र संघ की मांग को लेकर विश्वविद्यालय के विभिन्न छात्र संगठनों (आइसा, AISF, DISO आदि) ने विगत 6 माह से अलग अलग रूप से छात्रसंघ की मांग उठाई थी। बाद में सभी छात्र संगठनों और छात्र संघ का समर्थन कर रहे विद्यार्थियों ने मिलकर छात्र संघ चुनाव संघर्ष मोर्चा का निर्माण किया जिसके माध्यम से इस लड़ाई को अंतिम परिणाम तक पहुंचाने का निर्णय लिया गया। विश्वविद्यालय का शिक्षक संघ भी छात्रसंघ की मांग को लोकतांत्रिक मानते हुए अपना लिखित समर्थन दिया है।

मनव्वर ने नेशनल वायस छोड़ा, विशाल आईएनएच न्यूज से जुड़े, दुर्जय पासवान सम्मानित

उत्तर प्रदेश उत्तराखण्ड के रीजनल चैनल नेशनल वायस को लगतार झटके लग रहे हैं. नेशनल वायस के मेरठ ब्यूरो चीफ मनव्वर चौहान ने चैनल को गुडबॉय कर दिया है. मनव्वर ने मॉस कॉम में पीजी किया हुआ है. वे पिछले 8 वर्षों से मेरठ में पत्रकारिता कर रहे हैं. वे महुआ न्यूज़ लाइन के बाद भास्कर में वेस्ट यूपी इंचार्ज रहे. 2 वर्षों से नेशनल वाइस के साथ जुड़े थे. चर्चा है मनव्वर जल्द ही किसी चैनल के साथ नई पारी की शुरुआत करेंगे.

महाराष्ट्र राज्य हिन्दी साहित्य अकादमी के पुरस्कारों की घोषणा, देखें लिस्ट

मुंबई : महाराष्ट्र राज्य हिन्दी साहित्य अकादमी द्वारा वर्ष 2016-17 के पुरस्कारों की घोषणा कर दी गई है। उल्लेखनीय है कि प्रदेश में हिन्दी के प्रचार-प्रसार एवं विकास हेतु सतत रूप से प्रयासरत हिन्दी साहित्य अकादमी द्वारा प्रतिवर्ष हिन्दी सेवियों को पुरस्कृत किया जाता है। अकादमी द्वारा दिए जाने वाले ये पुरस्कार अखिल भारतीय, राज्य स्तरीय तथा विधागत होते हैं। सभी पुरस्कृत व्यक्तियों को अकादमी द्वारा आयोजित एक सम्मान समारोह में नगद पुरस्कार, स्मृति चिह्न तथा प्रशस्ति पत्र प्रदान किया जाता है।

रोशनदान से महिलाकर्मी का वीडियो बनाने के आरोप में भास्कर का पत्रकार बर्खास्त

दैनिक भास्कर राजस्थान के उदयपुर संस्करण में जनरल डेस्क इंचार्ज नरेंद्र नागदा को बाथरूम जाते समय रोशनदान से महिला कर्मी का वीडियो बनाने के आरोप में बर्खास्त कर दिया है… चर्चा है कि संपादक त्रिभुवन शर्मा ने अपनी सक्रियता से इस मामले को तूल पकड़ने से बचा लिया…

महाराष्ट्र के लेबर कमिश्नर का निर्देश- ठेका कर्मचारियों को भी मजीठिया वेजबोर्ड का लाभ देना जरूरी

सभी अखबारों की होगी फिर से जांच…  महाराष्ट्र के लेबर कमिश्नर द्वारा बुलाई गई त्रिपक्षीय समिति की बैठक में लेबर कमिश्नर यशवंत केरुरे ने अखबार मालिकों के प्रतिनिधियों को स्पष्ट निर्देश दिया कि आपको माननीय सुप्रिमकोर्ट के आदेश का पालन करना ही पड़ेगा। श्री केरुरे ने कहा कि वेज बोर्ड का लाभ ठेका कर्मचारियों को भी देना अनिवार्य है। मुम्बई के बांद्रा कुर्ला कॉम्प्लेक्स के लेबर कमिश्नर कार्यालय में बुलाई गई इस बैठक में  राज्यभर के विभागीय अधिकारियों को भी आमंत्रित किया गया था।

मजीठिया मामला : दैनिक भास्कर मुंबई के सुनील कुकरेती ने भी लगा दिया क्लेम

डी बी कॉर्प लिमिटेड द्वारा संचालित दैनिक भास्कर समाचार-पत्र के प्रिंसिपल करेस्पॉन्डेंट धर्मेन्द्र प्रताप सिंह द्वारा मजीठिया वेज बोर्ड मामले में कंपनी को धूल चटाए जाने के बाद ‘भास्कर’ के मुंबई ब्यूरो में बागियों की संख्या निरंतर बढ़ती जा रही है। अपने बकाए की वसूली के लिए श्रम विभाग पहुंचने वालों में अब नया नाम जुड़ा है सुनील कुकरेती का। सुनील इस संस्थान में बतौर सीनियर रिपोर्टर कार्यरत हैं।

Emfa urges restrain on television reporting

Guwahati: Even though urging the news channels to exercise restrain
over reporting on responsive issues, the Electronic Media Forum Assam
(Emfa) expressed dismay at the way a State civil service  officer
slammed the media for a recent reporting.

सुरेंद्र मिश्रा और राज शर्मा को पत्रकारिता कोश का श्रेष्ठ सूचना ब्यूरो सम्मान

मुंबई। लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज भारत की प्रथम मीडिया डायरेक्टरी “पत्रकारिता कोश” के 17वें अंक का विमोचन शनिवार, दि. 25 नवंबर, 2017 को शाम 5.00 बजे यशोदा हॉल, पंडित इस्टेट, जोशी बाग, कल्याण (पश्चिम) में संपन्न हुआ. ऊँ शिवम सत्संग ट्रस्ट एवं सोनावणे कॉलेज, कल्याण के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित इस समारोह की अध्यक्षता के.जे. सोमैया कॉलेज के हिंदी विभागाध्यक्ष डॉ. सतीश पांडेय ने की.  डॉ. सतीश पांडेय ने कहा कि पत्रकारिता कोश मीडिया व साहित्य की सूचनाओं का भंडार है. पत्रकारिता एवं साहित्य के क्षेत्र में बड़ी तेजी से बदलाव आ रहा है. ऐसे में पत्रकारिता व साहित्य जगत की सूचनाओं को आम लोगों तक पहुंचाने और उन्हें एक मंच पर लाने का काम पत्रकारिता कोश के माध्यम से हो रहा है.

रोहित सरदाना और अंजना ओम कश्यप के इस ‘युद्ध’ से आपने कुछ सोचा-सीखा?

Dilip Khan : आजतक न्यूज़रूम का एक वीडियो देख रहा था। रोहित सरदाना और अंजना ओम कश्यप आपस में पद्मावती को लेकर भिड़े हुए थे। एक पक्ष, एक प्रतिपक्ष। दोनों एक-दूसरे को चित्त करने के अंदाज़ में मोहल्ले के गमछाधारी गैंग की तरह लड़ रहे थे। फिर याद आया कि टाइम्स ग्रुप ने एक नया चैनल शुरू किया है- मिरर नाऊ। आप एक ही मुद्दे पर टाइम्स नाऊ को देखिए और मिरर नाऊ को, तो काउंटर नैरेटिव बनता नज़र आएगा। मतलब एक खित्ते के लोग जो एक चैनल के कंटेंट से उखड़े हुए हैं, उन्हें उसी समूह का दूसरा चैनल हाजमोला की गोली खिलाकर पचाने में जुटा है।

रोहित सरदाना के समर्थन में उतरा बीईए, धमकी दिए जाने की निंदा की

ब्राडकास्ट एडिटर्स एसोसिएशन यानि बीईए यानि टीवी चैनल्स के संपादकों की संस्था ने आजतक चैनल के एंकर रोहित सरदाना के समर्थन में एक बयान जारी कर उन्हें धमकाए जाने की निंदा की. बीईए प्रेसीडेंट सुप्रिय प्रसाद ने इस बारे में जो बयान जारी किया है, वह इस प्रकार है-

राम बहादुर राय को वोटिंग का अधिकार देना पड़ा, प्रेस क्लब प्रबंधन झुका, देखें वीडियो

प्रेस क्लब आफ इंडिया के चुनाव में राम बहादुर राय को वोट देने का अधिकार क्लब प्रबंधन को देने के लिए मजबूर होना पड़ा. ड्यूज न जमा करने का हवाला देकर राय साहब की सदस्यता रद्द कर दी गई थी. इसके खिलाफ राय साहब ने प्रेस क्लब चुनाव के दौरान विरोध का ऐलान कर दिया था. वे चुनाव के दिन मौके पर पहुंचे और वोट देने का अधिकार मांगा. इससे हड़बड़ाए क्लब प्रबंधन ने तुरंत उनका ड्यूज जमा कराने के बाद उन्हें वोटिंग का राइट दे दिया.

दैनिक जागरण के क्राइम रिपोर्टर पर हमला

मेरठ में दैनिक जागरण के क्राइम रिपोर्टर सुशील कुमार पर 28 नवम्बर की सुबह चार बजे सिविल लाइंस इलाके में घर में घुसकर कुछ लोगों ने हमला किया। हमलावर कई गाड़ियों पर लद कर आए थे। सुशील वेस्टर्न कचहरी रोड स्थित असौड़ा हाउस में रहते हैं। क्राइम रिपोर्टर सुशील को गाड़ी में भर कर आए हमलावरों ने अपहरण कर लिया। मामले की जानकारी मिलते ही मीडिया जगत में हड़कंप मच गया। पुलिस ने आनन-फानन में सक्रियता दिखाते हुए सबको थाने ले आई। बाद में दोनों तरफ के लोगों के बीच समझौता हो गया।

घायल सुशील कुमार. तस्वीर में वो गाड़ी भी दिख रही है जिससे हमलावर आए थे.

आरटीआई : उत्तर रेलवे में सात वर्षों में कुल 114 ट्रेनें लड़ी-भिड़ीं, 226 मारे गए

उत्तर रेलवे, दिल्ली द्वारा एक्टिविस्ट डॉ नूतन ठाकुर को आरटीआई में दी गयी सूचना के अनुसार 01 अप्रैल 2010 से अब तक कुल 114 ट्रेन दुर्घटनाएं हुई हैं. इनमे 110  मामलों में जाँच समिति की जाँच पूरी हो गयी है जबकि 04 मामलों में जाँच आख्या आनी बाकी है. इन ट्रेन दुर्घटनाओं में कुल 226 लोगों की मौत हुई जबकि 365 लोग घायल हुए. इन रेल दुर्घटनाओं में रेलवे के कुल 27.2 करोड़ रुपये की क्षति पहुँचने की बात बताई गयी है.

सूर्यादय से पहले ही अस्त होता ‘सूर्या चैनल’

सूर्या चैनल लॉन्च हुआ नहीं लेकिन चैनल में अब तक पांच संपादक लाये और निकाले जा चुके हैं. बिस्कुट कंपनी प्रिया गोल्ड के मालिक बीपी अग्रवाल इस सूर्या चैनल को ला रहे हैं. इस वेंचर का हाल बेहाल करने में बीपी अग्रवाल के एक पोते का भी बड़ा हाथ है. ये महोदय चैनल के डिपार्टमेंटल हेड / एचओडी से बदतमीजी से बात करने में जरा भी नहीं झिझकते. ताजा मामला इस चैनल में आये पत्रकार एसएन विनोद का है. एसएन विनोद के आने और जाने का ठीक से किसी को पता ही नहीं चला.

ख़बरिया चैनलों की मजबूरी भी समझो… ज़रा!

कोई ख़ुद को हिंदु बताने में गर्व महसूस कर रहा है, कोई मुस्लिम होने पर फ़ख़्र कर रहा है। कोई किसी का धर्म पूछ रहा है, कोई किसी को अपने धर्म की श्रेष्ठता साबित करने में पसीना बहा रहा है। सवाल ये है कि इंसान होने पर किस किस को गर्व है, और क्या इन दिनों ख़ुद को भारतीय समझने और कहने वाले किसी अवकाश पर गये हुए हैं। उधर कोई गाय के लिए किसी की जान ले रहा है तो किसी ख़बरिया चैनल पर अपने देश के कई गंभीर मुद्दों के बजाय पाकिस्तान के हालात पर चिंता में गर्मा गरम बहस हो रही है, तो कहीं कथित तौर पर भूख और अव्यवस्था के ख़िलाफ कथित नक्सलियों की आवाज़ को नज़रअंदाज़ करके आंतक के ख़ात्मे पर करोड़ों की लाइटों से जगमग स्टूडियो में बहस छिड़ी है, तो कहीं देश की आम महिला के दर्द को भुला कर तीन तलाक़ को मुद्दा बनाने की कोशिश जारी है। कोई किसी के नाना दादा की क़बरे खोद रहा है।

नेशनल मीडिया के बीच ‘ज़ी हिन्दुस्तान’ के कुछ स्लॉट्स टॉप पर

देश-प्रदेश की खबरों का नया ठिकाना ज़ी हिन्दुस्तान हर हफ्ते के साथ लोकप्रियता के पायदान चढ़ रहा है. देश के ऐसे इलाकों में जहां राष्ट्रीय न्यूज़ चैनल्स की नजर पूरी तरह नही जा पाती है, उन इलाकों की खबरों के लिए भी ज़ी हिन्दुस्तान दर्शकों की अपेक्षाओं पर पूरी तरह खरा उतर रहा है. 45 वें हफ्ते की बार्क रेटिंग्स ज़ी हिन्दुस्तान की देश के दूरदराज के इलाकों तक पहुंच को सही ठहरा रही है.

पत्रकार के अपमान से खफा उत्तर भारतीय महापंचायत ने अखबार के दफ्तर के सामने किया विरोध प्रदर्शन

मुंबई : उत्तर भारतीय महा पंचायत ने पत्रकारों के सम्मान के लिए सड़क पर उतरकर विरोध प्रदर्शन किया… पवई स्थित हमारा महानगर अखबार से बिना कारण बताए वरिष्ठ पत्रकार  कृष्णकांत मिश्रा को नौकरी से निकाले जाने के खिलाफ यह विरोध प्रदर्शन आयोजित किया गया… पुलिस विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों की तरफ से निवेदन पर पुतला दहन का आयोजन टाला गया… विरोध प्रदर्शन शुरू होते ही हमारा महानगर प्रबंधन ने पत्रकार को निकाले जाने के मुद्दे पर बातचीत करने का न्योता दिया… पुलिस ने भी समाचार समूह से बात करने का सुझाव दिया…

पृथ्वीराज कपूर ने हिंदी रंगमंच का निर्माण किया तो जगदीश चंद्र माथुर ने हिंदी को पहली बार अपने मिजाज के नाटक दिए

जगदीश चंद्र माथुर की जन्म शताब्दी पर समारोह…  दिल्ली। नाटक द्विआयामी विधा है। वह साहित्य और कला एक साथ है। यह एकांगी कला नहीं विशिष्ट कला है जो लिखे जाने पर साहित्य और फिर खेले जाने पर कला बनता है। जगदीश चंद्र माथुर के नाटक इस अर्थ में विशिष्ट हैं कि वे श्रेष्ठ साहित्य होने के साथ रंगमंच की दृष्टि से भी खरे हैं। सुप्रसिद्ध नाटककार दया प्रकाश सिन्हा ने स्वतंत्रता के बाद हिंदी के पहले बड़े नाटककार जगदीश चंद्र माथुर की जन्म शताब्दी पर साहित्य अकादेमी के सहयोग से हिन्दू कालेज में आयोजित संगोष्ठी में कहा कि माथुर अग्रगामी नाटककार थे।

Elan Group lodges two FIRs against PVR Cinemas for cheating, forgery

Multiple FIRS’ registered against PVR Cinemas and its promoters Ajay Bijli, Sanjeev Kumar Bijli, Niharika Bijli and other Directors for cheating and forgery U/s 420, 406 and 120B IPC for selling Stocks at inflated value of Rs 820 Crore illegally and causing loss of Crores to Gurgaon based Real Estate Companies. The Gurugram Police has registered FIR under section 420, 406, 120BIPC and other sections against  Ajay Bijli his brother Sanjeev Kumar Bijli daughter Ms. Niharika Bijli alongwith PVR Limited and Eight persons including Ms. Renuka Ramnath, Mr. Amit Burman, Mr. Vikram Bakshi and others. The FIR got registered for their alleged involvements in fraudulently inflating the share prices and selling the same for an exorbitant price of 820 crores.

विश्वसनीयता का संकट पत्रकारिता की सबसे बड़ी चुनौती : मणिकांत ठाकुर

बिहार के प्रसिद्ध पत्रकार मणिकांत ठाकुर ने कहा कि मीडिया के समक्ष सबसे
बड़ी चुनौती है कि उसकी विश्वशनीयता बनाये रखा जाय. विश्वसनीयता सिर्फ
खबरों के संकलन में नहीं बल्कि उसे प्रस्तुत करने और विशलेषित करने की
आवश्यकता है. वे आयुक्त कार्यालय के सभाकक्ष में आयोजित राष्ट्रीय प्रेस
दिवस पर ” मीडिया के सामने चुनौतियां ” विषयक संगोष्ठी में बोल रहे थे.
इस संगोष्ठी का उद‍्घाटन मुंगेर के प्रमंडलीय आयुक्त राजेश कुमार,
जिलाधिकारी उदय कुमार सिंह, वरिष्ठ पत्रकार मणिकांत ठाकुर एवं अजय कुमार
ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया.

छंटनी की धमकी के सदमें में ईटीवी एमपी के सीनियर रिपोर्टर सुनील तिवारी को पैरालिसिस अटैक

मौत के दरवाजे पर खड़ा एक होनहार रिपोर्टर… ईटीवी एमपी-छग भोपाल ब्यूरो के सीनियर रिपोर्टर सुनील तिवारी की हालत नाजुक… ईटीवी प्रबंधन ने मुंह मोड़ा… पीड़ित की मदद में आए राजधानी के पत्रकार गण…  खबर भोपाल से है… ईटीवी मध्यप्रदेश -छत्तीसगढ़ के भोपाल ब्यूरो के सीनियर रिपोर्टर सुनील तिवारी पैरालिसिस अटैक के चलते अब बिस्तर पर जिंदगी मौत की लड़ाई से जूझ रहे हैं… दरअसल पिछले दिनों दफ्तर से लौटने के बाद रात को खाना खाते समय तिवारी अचानक बेहोश हो गए थे… उन्हें तुरंत निजी बंसल अस्पताल ले जाया गया… जहां डॉक्टरों ने ब्रेन हेमरेज बताया, लेकिन अब उनके शरीर का एक तरफ का हिस्सा पूरी तरह से निष्क्रिय हो गया है… न ही वे बोल सकते हैं, न सुन सकते हैं…किसी तरह का मूवमेंट नहीं कर पा रहे हैं…

वरिष्ठ पत्रकार विनोद वर्मा पर हमला करने वाले दो आरोपी गिरफ्तार

रायपुर से खबर है कि कथित सीडी कांड में आरोपी बनाए गए वरिष्ठ पत्रकार विनोद वर्मा की गाड़ी पर हमला करने के आरोप में पुलिस ने दो लोगों को गिरफ्तार कर लिया है. माना थाने की पुलिस द्वारा पकड़े गये इन आरोपियों के नाम दिनेश चौधरी और राजेश विश्वास है. ये दोनों माना कैम्प के रहने वाले हैं.

यशवंत जैसे जुझारू और क्रांतिकारी व्यक्तित्व का प्रेस क्लब में जीतकर आना बहुत जरूरी था

Ashwini Kumar Srivastava : अपने एक फेसबुक कमेंट में हमारे प्रिय सखा Satyendra PS जी ने इस बार के दिल्ली प्रेस क्लब के चुनाव को छात्र संघ चुनाव सरीखा करार दिया था। क्योंकि उनकी नजर में इस बार का चुनाव दरअसल, छात्र संघ चुनाव जैसा ही रोमांचक और हंगामाखेज था। इसकी वजह यह थी क्योंकि इस बार मीडिया के दो ऐसे अराजक मगर क्रांतिकारी साथी चुनाव मैदान में उतर गए थे, जिनका लोहा तकरीबन हर पत्रकार मानता है…चाहे वह उनका विरोधी हो या समर्थक। और ये दो अद्भुत खिलाड़ी हैं Abhishek Srivastava और Yashwant Singh.

मजीठिया वेज बोर्ड मामला : सुप्रीम कोर्ट ने अखबार मालिकों को राहत देने से किया इनकार, देखें ऑर्डर की कापी

जस्टिस मजीठिया वेज बोर्ड मामले में माननीय सुप्रीम कोर्ट अखबार मालिकों के खिलाफ सख्त होता जा रहा है। जी हां, सुप्रीम कोर्ट ने अखबार मालिकों के लिए दो सख्त आदेश दिए हैं… पहला तो यह कि उन्हें अपने कर्मचारियों को जस्टिस मजीठिया वेज बोर्ड का लाभ देना ही पड़ेगा, भले ही उनका अखबार घाटे में हो। दूसरा, अखबार मालिकों को उन कर्मचारियों को भी मजीठिया वेज बोर्ड के मुताबिक लाभ देना पड़ेगा, जो ठेके पर हैं। सुप्रीम कोर्ट के रुख से यह भी स्पष्ट हो चुका है कि जिन मीडियाकर्मियों को मजीठिया वेज बोर्ड का लाभ चाहिए, उन्हें क्लेम लगाना ही होगा।

प्रेस क्लब आफ इंडिया के चुनाव में यशवंत हारे, देखें नतीजे

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Yashwant Singh : टोटल 1750 वोट पड़े हैं जिनमें 500 वोटों की गिनती हो चुकी है। इस आधार पर कहें तो सत्ताधारी पैनल क्लीन स्वीप की तरफ है। मैनेजिंग कमेटी के लिए जो 16 लोग चुने जाने हैं उनमें 500 वोटों के आधार पर मेरी पोजीशन 23 नम्बर पर है। चमत्कार की कोई गुंजाइश आप पाल सकते हैं। मैंने तो हार कुबूल कर लिया है। प्रेस क्लब के इस चुनाव में शामिल होकर इस क्लब को गहरे से जानने का मौका मिला जो मेरे लिए एक बड़ा निजी अनुभव है। नामांकन करने से लेकर बक्सा सील होने, बैलट वाली मतगणना देखना सुखद रहा। अब साल भर तैयारी। अगले साल फिर लड़ने की बारी। सपोर्ट के लिए आप सभी को बहुत बहुत प्यार। इतना समर्थन देखकर दिल जुड़ा गया। ये अलग बात है कि जो क्लब के टोटल वोटर है, उनमें बड़ी संख्या में मुझसे और मैं उनसे अपरिचित हूं। साल भर में इन सबसे जुड़ने की कोशिश किया जाएगा और अगली साल ज्यादा प्रोफेशनल तरीके से लड़ा जाएगा।

कल मतगणना शुरू होने के ठीक बाद उपरोक्त स्टेटस यशवंत ने फेसबुक पर डाला था.

तस्वीरों की जुबानी प्रेस क्लब आफ इंडिया में हुए ‘विकास’ की कहानी…

प्रेस क्लब में सात वर्षों में विकास के नाम पर केवल कुर्सी मेज बदले जाने से लेकर बार-बार बाथरूम तोड़े जाने का काम किया गया. अब भी पूरे प्रेस क्लब कैंपस में यानि किचन से लेकर कामन हाल तक में चूहे क्राकोच दौड़ते रहते हैं. खाने का स्तर बेहद घटिया हो चुका है. क्लब में अराजकता का आलम दिखता है. जिम के सामान और इसके रूम को तो जैसे डस्टबिन में तब्दील कर दिया गया है. इसके बावजूद इस सत्ताधारी पैनल के लोग अपने राज में खूब विकास किए जाने बात कर सदस्यों को बरगलाते हैं. सच तो ये है कि इनके पास क्लब और इसके सदस्यों की बेहतरी को लेकर कोई आइडिया, विजन, प्लान नहीं है.

राम बहादुर राय ही नहीं, सैकड़ों पत्रकारों की सदस्यता इस साल सत्ताधारी पैनल ने खत्म कर दी, मीडियाकर्मियों में आक्रोश

Yashwant Singh : कल राम बहादुर राय जी की सदस्यता प्रेस क्लब से खत्म किए जाने की सूचाना थी। आज पता चल रहा है कि सैकड़ों पत्रकारों की सदस्यता खत्म की गई है। प्रिंट और टीवी के पत्रकार महेंद्र श्रीवास्तव की भी सदस्यता खत्म की जा चुकी है। इसी तरह सैकड़ों लोगों की सदस्यता बकाया जमा न करने के नाम पर खत्म कर दी गई। कल होने वाले चुनाव में सैकड़ों पुराने पत्रकारों को वोट नहीं डालने दिया जाएगा, सदस्यता खत्म होने का हवाला देकर। ये सिलसिला नया नहीं है।

पीसीआई चुनाव : यशवंत को आख़िर क्यों जितायें दिल्ली के पत्रकार!

Naved Shikoh : यशवंत को आख़िर क्यों जितायें दिल्ली के पत्रकार! क्योंकि ये ऐसा पत्रकार ने जो ब्रांड अखबारों की नौकरी छोड़कर शोषित पत्रकारों की लड़ाई लड़ रहा है। इस क्रान्तिकारी पत्रकार ने अपने कॅरियर को दांव पर लगाकर, वेतन गंवाया.. तकलीफें उठायीं. मुफलिसी का सामना किया.. जेल गये.. सरकारों से दुश्मनी उठायी… ताकतवर मीडिया समूहों के मालिकों /उनके मैनेजमेंट से टकराये हैं ये। छोटे-बड़े अखबारों, न्यूज चैनलों में पत्रकारों का शोषण /महीनों वेतन ना मिलना/बिना कारण निकाल बाहर कर देना.. इत्यादि के खिलाफ कितने पत्रकार संगठन सामने आते हैं? कितने प्रेस क्लब हैं जहां पत्रकारों की इन वाजिब समस्याओं के समाधान के लिए कोई कदम उठाया जाता है!

Jatin Gandhi बता रहे, वो पीसीआई में क्यों लड़ रहे हैं वाइस प्रेसीडेंट पद पर चुनाव


A PERSONAL MANIFESTO

(Or, why I am contesting for the post of vice-president in the Press Club of India on Saturday, November 25)

Friends,

The IWPC, that enviously cosy and clean club for women journalists down the road from us, will over the next weekend host a film appreciation course of the FTII, Pune, for its members. A few days ago, it had collaborated with the Indian Council for Cultural Relations to celebrate its annual day in one of the best auditoriums in Lutyens’ Delhi.

अनिकेंद्र-शाहिद पैनल से लड़ रहे जतिन गांधी, प्रवीण जैन और निर्मिमेष कुमार के बारे में जानिए

Vice President
Jatin Gandhi

Published author and journalist with 21 years in the profession across different media. At present Associate Editor with Hindustan Times. Before that Jatin worked with The Hindu, The Indian Express, India Today magazine, Open, Star News (now ABP), Times Now, NDTV convergence and wahindia.com.

प्रेस क्लब चुनाव : बैलट पेपर में सबसे आखिरी पायदान पर है यशवंत का नाम

प्रेस क्लब आफ इंडिया के चुनाव कल यानि पच्चीस नवंबर को होने वाले हैं. भड़ास के संपादक यशवंत भी मैनेजिंग कमेटी पद के लिए अनिकेंद्र सेन उर्फ बादशाह, शाहिद फरीदी और जतिन गांधी पैनल से चुनाव लड़ रहे हैं. यशवंत का बैलट नंबर 33 है. नाम अल्फाबेटिकली लिखा जाता है बैलट पेपर पर इसलिए यशवंत का नाम सबसे आखिर में है. मतदाताओं से अपील है कि वे बैलट पेपर के सबसे आखिरी नाम से मुहर मारना शुरू करें ताकि इस चुनाव में यशवंत और उनके पैनल को विजयी बनाकर प्रेस क्लब आफ इंडिया में बदलाव की मुहिम को अंजाम तक पहुंचाया जा सके.

हिन्दुस्तान प्रबन्धन को डीएलसी की कड़ी चेतावनी, कहा- हठधर्मी का रास्ता छोड़ें

बरेली से खबर आ रही है कि मजिठिया को लेकर उत्पीड़न के मामले की सुनवाई के दौरान उपश्रमायुक्त बरेली ने चेतावनी भरे लहजे में कहा कि हिन्दुस्तान का प्रबन्धन हठधर्मी का रास्ता छोड़े। यदि कोई ये समझता है कि वह सर्वोपरि है तो ऐसे लोग जान लें, सुप्रीम कोर्ट से बढ़कर कोई नहीं है। ना मैं और ना अखबार मालिक। लिहाजा आपसी समझौते से शिकायतकर्ता कर्मचारियों से मसला निपटा लें, नहीं तो अगली तिथि पर मजबूरन उनको विधि सम्मत कड़ा निर्णय लेना पड़ेगा।

आरटीआई : अमिताभ कान्त, महर्षि, अरोरा चुनाव आयुक्त के रेस में थे

विधि तथा न्याय मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा लखनऊ स्थित एक्टिविस्ट डॉ नूतन ठाकुर को आरटीआई में दी गयी सूचना से स्पष्ट होता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने व्यक्तिगत स्तर पर सुनील अरोरा को चुनाव आयुक्त के रूप में उपयुक्त पाते हुए उनकी संस्तुति की थी जिसे राष्ट्रपति द्वारा अनुमोदित किया गया.

मिर्जापुर के पत्रकार रिजवान अहमद की थम गई सांस

मिर्जापुर के पत्रकार शोकाकुल हैं. कंतित निवासी पत्रकार रिजवान अहमद (४०) का गुरूवार को निधन हो गया. वे इलाहाबाद से प्रकाशित दैनिक कौशांबी टाइम्स के मीरजापुर मुख्यालय से जिला संवाददाता थे. रिजवान अहमद कुछ दिनों से अस्वस्थ्य चल रहे थे. उनका उपचार चल रहा था. बुधवार को पुनः हालत बिगड़ने पर उन्हें मंडलीय अस्पताल में …

प्रेस क्लब आफ इंडिया को निजी जागीर बनने से रोकें, बदलाव के लिए वोट करें

अब तो बदल ही जाना चाहिए PRESS CLUB of INDIA, DELHI की सत्ता और सूरत। पूरे सात साल हो गए लेकिन अभी तक पत्रकारों की हितैषी ये संस्था उन्ही के चंगुल में फँसी है जो इसको अपनी जागीर समझ कर चला रहे है. यहाँ की सदयस्ता के नियम भी ताक पर रख दिए गए है। जिन्होंने कभी एक पेज का लेख नहीं लिखा वो यहाँ के पदाधिकारियों की बदौलत सदस्य हैं और राम बहादुर राय जैसे पत्रकार बाहर.

सभासद का चुनाव लड़ने पर जागरण ने रिपोर्टर को दिखाया बाहर का रास्ता

एक पत्रकार को फेसबुक एकाउंट पर वोट मांगना भारी पड़ गया। उनके वोट मांगने वाले स्टेटस का स्क्रीनशाट किसी ने सम्पादक को भेज कर शिकायत कर दी। इसके बाद रिपोर्टर को बाहर कर दिया गया। दैनिक जागरण मुरादाबाद के अमरोहा जिले की तहसील धनौरा मंडी निवासी नवीन वर्मा छह साल से दैनिक जागरण में तहसील रिपोर्टर हैं।

न्यूज18 इंडिया चैनल जी न्यूज से आगे निकला, पहुंचा तीसरे पायदान पर

इस साल के छियालिसवें हफ्ते की नेशनल हिंदी न्यूज चैनलों की टीआरपी के आंकड़े देखने से पता चलता है कि अंबानी के चैनल न्यूज18 इंडिया रफ्तार लगातार बढ़ती ही जा रही है. यह चैनल टीआरपी टाप टेन में तीसरे पायदान पर पहुंच गया है.  TG:CS15+ कैटगरी में तो जी न्यूज और न्यूज18 इंडिया बराबरी पर हैं लेकिन CSAB Male 22+ कैटगरी में न्यूज18 इंडिया आगे निकल गया है जी न्यूज से. इनके अलावा बाकी सारे चैनल लगभग अपनी पुरानी टीआरपी के साथ इसके पहले वाले हफ्ते के ही पायदान पर हैं. देखें आंकड़े…

प्रेस क्लब आफ इंडिया प्रबंधन ने वरिष्ठ पत्रकार राम बहादुर राय की सदस्यता सस्पेंड की

प्रेस क्लब आफ इंडिया का चुनाव बस दो दिन बाद है यानि पच्चीस नवंबर को. उसके ठीक पहले एक बड़ी खबर आ रही है. प्रेस क्लब आफ इंडिया के पदाधिकारियों ने वरिष्ठ पत्रकार राम बहादुर राय की सदस्यता सस्पेंड कर दी है. साथ ही उन्हें वोट न डालने देने का भी फैसला ले लिया है. इससे आहत जाने-माने पत्रकार और अपनी बेबाक बयानी के लिए मशहूर राम बहादुर राय ने घोषणा की है कि वह चुनाव के दिन प्रेस क्लब आफ इंडिया जाएंगे और अपना ड्यूज क्लीयर करने के बाद वोट देने की कोशिश करेंगे. अगर वोट देने से रोका गया तो वो विरोध स्वरूप वहीं पर खड़े रहेंगे.

पत्रकारों के सामने मौजूदा चुनातियों पर यशवंत लड़ते हैं, प्रेस क्लब पदाधिकारी दुम दबाए रहते हैं…

इन बातों से आप सहमत हों तो पीसीआई इलेक्शन में बैलट नंबर 33 पर मुहर मार कर यशवंत को सबसे ज्यादा वोटों से विजयी बनाइए…

अपनी प्रासंगिकता खो रहे प्रेस क्लब ऑफ इंडिया के चुनाव में इस बार नई बयार देखी जा रही है. मैनेजिंग कमेटी मेंबर के लिए 33 नंबर पर चुनाव लड़ रहे यशवंत सिंह उन पत्रकारों के लिए आशा की नई किरण हैं, जो अपनी नौकरी के चक्कर में मीडिया मालिकों और कुछ कारपोरेट संपादकों की मनमानी सहने पर मजबूर रहते हैं. उनसे बातचीत के आधार पर यह लेख लिख रहा हूं…

अखिल भारतीय पत्रकार मोर्चा ने पीसीआई चुनाव में सेन-फरीदी-गांधी पैनल को जिताने की अपील की

Pradeep Mahajan :  प्रेस क्लब चुनाव में इस बार मिट्टी के माधवों को नहीं बल्कि जुझारू यशवंत सिंह और विकास मिश्रा को जितायें…  पीसीआई का चुनाव 25 नवंबर को है.. इस चुनाव में पीसीआई के सदस्य सेन-फरीदी-गांधी पैनल को वोट दें. इस बार चुनाव में इस पैनल से दो युवा फ्रेश जुझारू और पत्रकारों के लिए कुछ कर गुजरने वाले यशवंत सिंह और विकास मिश्रा भी चुनाव में खड़े हैं. ये पत्रकारिता के लिए और पत्रकारों के लिए नए नाम नहीं हैं.

पाकिस्तान में पत्रकारों की सेफ्टी से संबंधित विधेयक नामंजूर

ISLAMABAD: A parliamentary committee on Thursday rejected the government’s bill on the safety of journalists and set up a three-member subcommittee to draft another bill in consultation with stakeholders which will be tabled as a private member’s bill in case the government does not own it. The decision was taken during a meeting of the Senate Standing Committee on Information, Broadcasting and National Heritage, which was chaired by Senator Kamil Ali Agha.

PTV current affairs director sacked after allegations of harassment, misuse of authority

Pakistan Television (PTV) on Friday sacked its suspended director of current affairs, Agha Masood Shorish, following allegations of sexual harassment and misuse of authority by multiple staffers at the state-run broadcaster. A total of five inquiries had been initiated against Shorish, including three for sexual harassment. PTV’s 14 producers had also filed a complaint against him in the Islamabad High Court, and the issue was also taken up in the National Assembly.

प्रेस क्लब का विवादित सत्ताधारी पैनल जीतने के लिए हर किस्म के हथकंडे आजमाने को मजबूर

प्रेस क्लब आफ इंडिया में पच्चीस नवंबर को होने वाले चुनाव में आठवें बरस भी जीतने के लिए सत्ताधारी पैनल के लोग लगे हुए हैं और इन लोगों ने अब हर किस्म के हथकंडे आजमाना शुरू कर दिया है. सात साल पहले पुष्पेंद्र कुलश्रेष्ठ के साम्राज्य को उखाड़ फेंकने के लिए जिस किस्म की बड़ी गोलबंदी हुई थी, वैसी ही गोलबंदी इस दफे दिख रही है. विवादित और कदाचारी सत्ताधारी पैनल वालों को पत्रकार इस बार विराम देने के मूड में हैं.

प्रेस क्लब नामक गुप्त संस्था को चार लोग हांकते रहे हैं… उम्मीद है बदलाव आएगा…

Nitin Thakur : प्रेस क्लब क्यों, कैसे, किसके लिए काम करता है मुझे बहुत ज़्यादा मालूम नहीं. इसकी वजह मेरी इस संस्था के प्रति उदासीनता नहीं बल्कि पहली ही नज़र में इसका गुप्त संस्था की तरह काम करना है. चार लोग ही इसे हांकते रहते हैं और ये बदनामी की अपनी किस्मत लिए चलती रहती है. पत्रकारों के लिए काम करते इसे देखा नहीं.. ऊपर से इसके दरवाज़े-खिड़की हर पत्रकार के लिए खुले हैं नहीं.. मगर इस बार इस संस्था के चुनाव में दो वजहों से दिलचस्पी है.

कौन हैं शाहिद फरीदी, क्यों लड़ रहे प्रेस क्लब चुनाव, देखें ये वीडियो

प्रेस क्लब आफ इंडिया के चुनाव में शाहिद फरीदी सेक्रेट्री जनरल के पद पर चुनाव लड़ रहे हैं. उनके जीवन और करियर से लेकर प्रेस क्लब के तमाम मसलों पर विस्तार से बात की भड़ास के संपादक यशवंत ने. यशवंत भी इस चुनाव में मैनेजिंग कमेटी मेंबर के लिए मैदान में हैं. देखें वीडियो… नीचे …

कड़े सवाल से नाराज भाजपा प्रवक्ता ने एंकर को घटिया आदमी कहा

भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता विजय सोनकर शास्त्री ने न्यूज एंकर असित नाथ तिवारी को घटिया आदमी कह दिया.. . केंद्र की सत्ता में बैठी भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता की हालत ये है कि वो भी नहीं बता पा रहे हैं कि सरकार ने चार साल में कौन से काम किए हैं। हद तो ये कि पत्रकार के सवाल पूछने पर वो पत्रकार को ही घटिया आदमी कह गए।

JFA condemns Tripura scribe’s murder

Guwahati: Journalists’ Forum Assam (JFA) has strongly condemned the
repeated murder of scribes in Tripura and urged the Manik Sarkar led
government in Agartala to take serious note of the development. The
scribe’s forum expressed utter dismay that the tiny State of northeast
India has lost one more journalist on Tuesday (21 November 2017) noon.
As reported  by the local media outlets, Sudip Dutta Bhowmik, who used
to work for a Tripura based Bengali newspaper, was gunned down by the
soldiers belonged to the  Tripura State Rifles.  The incident took
place  in front of TSR 2nd Battalion office at Khayerpur Bodhjung
locality.

त्रिपुरा में वरिष्ठ पत्रकार की पुलिस ने गोली मारकर हत्या कर दी

IFWJ strongly condemns killing of Tripura journalist by policeman

New Delhi, 21st November: Indian Federation of Working Journalists (IFWJ) has expressed shock and serious concern over the brutal killing of a senior journalist Sudip Dutta Bhowmik today near Agartala. He was a crime reporter of ‘Syandan Patrika’, a widely circulated Bengali daily of Agartala (Tripura).

ये है सत्ताधारी गौतम-विनय पैनल, देखिए संजय सिंह से खास बातचीत

प्रेस क्लब आफ इंडिया चुनाव में कई सालों से लगातार जीत रहे लोगों का पैनल भी मैदान में उतरा है. इस पैनल का नाम है गौतम-विनय पैनल. गौतम लाहिरी प्रेसीडेंट और विनय कुमार सेक्रेट्री जनरल पद के वास्ते लड़ रहे हैं. ये दोनों वर्तमान में भी इसी पद पर काबिज हैं और आगे भी इसी पद पर बने रहने के लिए चुनाव लड़ रहे हैं. इस पैनल से राष्ट्रीय सहारा अखबार के संजय सिंह अबकी ज्वाइंट सेक्रेट्री पद के लिए लड़ रहे हैं.

नवीन निशांत के नेतृत्व में लांच होगा दैनिक भास्कर का सहरसा एडिशन

बिहार के सहरसा में प्रिंट मीडिया में बड़ी उथल-पुथल हुई है. कई सालों से हिंदुस्तान अख़बार की बागडौर संभाल रहे नवीन निशांत ने दैनिक भास्कर का दामन थाम लिया है. अब दैनिक भास्कर का सहरसा एडिशन नवीन निशांत के नेतृत्व में ही लॉन्च होगा. इधर नवीन निशांत के भास्कर ज्वाइन करने के साथ ही जिले में हिंदुस्तान, प्रभात खबर, दैनिक जागरण में खलबली मच गई है.

PCI Election : बादशाह सेन और शाहिद फरीदी का इंटरव्यू देखें

प्रेस क्लब आफ इंडिया का सालाना चुनाव पच्चीस नवंबर को होना है. इस बार खास ये है कि जो गुट लगातार सात साल से येन केन प्रकारेण प्रेस क्लब पर काबिज है, उसे हटाने के वास्ते मुकाबले को  केवल एक ही पैनल चुनाव मैदान में है. आम पत्रकारों के प्रतीक इस पैनल में प्रेसीडेंट पद के लिए वरिष्ठ पत्रकार बादशाह सेन लड़ रहे हैं. सेक्रेट्री जनरल पद के लिए जाने-माने पत्रकार शाहिद फरीदी मैदान में हैं. इन दोनों का वीडियो इंटरव्यू इत्मीनान से देखें और वोट देने के पहले अच्छे से तय करें कि क्या आंखों पर पट्टी बांधकर वोट देना है या लोकतंत्र में जिंदा रहने वाले किसी आजाद शख्स की तरह मत का प्रयोग बेहतरी, सरोकार और बदलाव के लिए करना है…

News18 India चैनल ने लगाई छलांग, News Nation पतन की ओर

इस साल के पैंतालीसवें हफ्ते की राष्ट्रीय हिंदी न्यूज चैनलों की टीआरपी देखने से पता चलता है कि सबसे ज्यादा फायदा News18 India चैनल को हुआ है. सबसे ज्यादा नुकसान न्यूज नेशन चैनल को झेलना पड़ा.  इस अप डाउन के कारण न्यूज नेशन को पांचवें नंबर से गिरकर छठें नंबर पर आना पड़ा और न्यूज18 इंडिया चैनल ने पांचवें स्थान पर कब्जा जमा लिया है. बाकी सारे चैनल्स थोड़े बहुत हेरफेर के साथ अपने अपने पद पर मौजूद हैं. देखें आंकड़े…

भड़ास वाले यशवंत और आजतक वाले विकास मिश्र के एक ही पैनल में आने से प्रेस क्लब चुनाव हुआ रोचक

Yashwant Singh : अब ये तय हो चुका है कि प्रेस क्लब ऑफ इंडिया के चुनाव में मैनेजिंग कमेटी मेम्बर के लिए मैं एक प्रत्याशी हूं। खुशी की बात है कि Vikas Mishra और Anita Choudaary भी अपने ही पैनल में है और मैनेजिंग कमेटी मेम्बर पद के कैंडीडेट हैं। कुल 16 लोग मैनेजिंग कमेटी मेम्बर चुने जाते हैं। शीर्ष पदों के लिए अपने पैनल के प्रत्याशी यूं हैं : President: Anikendra Nath Sen (Badshah Sen), VP: Jatin Gandhi, Secretary General: Shahid Faridi, Joint Secretary: Praveen Jain, Treasurer: Nirnimesh Kumar. वोट 25 नवम्बर को है। हमारा पूरा पैनल यूं है :

डॉक्टर से 7 लाख रुपये हफ्ता लेते नवभारत अखबार का असिस्टेंट मैनेजर गिरफ्तार

4 दिनों की पुलिस कस्टडी, आरोपी के साथी की तलाश जारी… मुंबई। कल्याण के एक स्थानीय डाक्टर से 7 लाख का हफ्ता मांगने के जुर्म में कल्याण पुलिस ने हिन्दी अखबार नवभारत के असिस्टेंट मैनेजर को गिरफ्तार किया है. आरोपी का नाम स्टैनली सैम्युअल विजॉन है, जो अखबार के मार्केटिंग विभाग में असिस्टेंट मैनेजर के तौर पर कार्यरत है. पुलिस ने बताया कि स्टैनली ने यहां खड़कपाड़ा के उमा हास्पिटल के डॉ. साईंनाथ बैरागी को अस्पताल की गोपनीय जानकारी सार्वजनिक करने की धमकी देकर 7 लाख रुपयों की मांग की. पहली किश्त के रूप में 2 लाख रुपए तय हुआ. डॉक्टर ने इसकी शिकायत पुलिस के हफ्ता विरोधी दस्ते से कर दी.  दस्ते ने जाल बिछाया, जहां हास्पिटल में 2 लाख रुपए लेते समय स्टैनली को रंगेहाथों दबोच लिया. पुलिस ने आरोपी से अखबार का आईडी कार्ड और कुछ दस्तावेज भी बरामद करते हुए जांच तेज कर दी है.

‘पद्मावती’ फिल्म देख आए वरिष्ठ पत्रकार वेद प्रताप वैदिक, पढ़िए वो क्या कह रहे हैं…

फिल्म पद्मावती को लेकर आजकल जैसा बवाल मच रहा है, अफवाहों का बाजार जैसे गर्म हुआ है, वैसा पहले किसी भी फिल्म के बारे में सुनने में नहीं आया। बवाल मचने का कारण भी है। पद्मावती या पद्मिनी सिर्फ राजस्थान ही नहीं, सारे भारत में महान वीरांगना के तौर पर जानी जाती है। मध्ययुग के प्रसिद्ध कवि मलिक मुहम्मद जायसी ने अपनी महान कृति ‘पद्मावत’ में चितौड़ की इस महारानी का ऐसा सुंदर चरित्र-चित्रण किया है कि वे भारतीय नारी का आदर्श बन गई हैं। यदि ऐसी पूजनीय देवी का कोई फिल्म या कविता या कहानी अपमान करे तो उसका विरोध क्यों नहीं होना चाहिए और डटकर होना चाहिए लेकिन यह जरुरी है कि विरोध करने के पहले उस कला-कृति को देखा जाए, पढ़ा जाए, उसका विश्लेषण किया जाए। मुझे पता नहीं कि जो संगठन इस फिल्म का विरोध कर रहे हैं, उनके नेताओं ने यह फिल्म देखी है कि नहीं? मैंने यह सवाल पिछले हफ्ते अपने एक लेख में उठाया था। मुझे राज-परिवारों से संबंधित मेरे कुछ मित्रों ने प्रेरित किया कि मैं खुद भी इस फिल्म को देखूं और अपनी राय दूं।

केंद्रीय मंत्री को मिलते हैं पांच चपरासी

कैबिनेट सचिवालय, भारत सरकार द्वारा लखनऊ स्थित एक्टिविस्ट डॉ नूतन ठाकुर को आरटीआई में दी गयी सूचना के अनुसार भारत सरकार के कैबिनेट मंत्री को कार्यालय के कार्यों के लिए 01 वरिष्ठ चपरासी और 04 चपरासी यानी कुल 05 लोग मिलते हैं. यह व्यवस्था 25 अक्टूबर 1975 को जारी शासनादेश के अनुसार है. इसी आदेश के अनुसार राज्य मंत्री को 01 वरिष्ठ चपरासी और 03 चपरासी अर्थात 04 लोग तथा उप मंत्री को 01 वरिष्ठ चपरासी तथा 01 चपरासी अर्थात 02 लोग कार्यालय में सहायता के लिए दिए जाते हैं.

लोकमत प्रबंधन को तगड़ा झटका, नौकरी से निकाले २४ मीडियाकर्मियों को काम पर रखने का निर्देश

महाराष्ट्र से प्रकाशित मराठी दैनिक लोकमत को तगड़ा झटका लगा है। ७ नवंबर को  नागपुर की इंडस्ट्रीयल कोर्ट नंबर ४ ने एक आदेश जारी कर लोकमत से निकाले गये २४ स्थायी कर्मचारियों को वापस काम पर रखने का निर्देश दिया है। इस बारे में जानकारी देते हुये लोकमत श्रमिक संगठन के संजय येवले पाटिल ने बताया कि इंडस्ट्रीयल कोर्ट ने सभी २४ स्थायी कर्मचारियों को ४ सप्ताह के अंदर काम पर रखने का निर्देश कंपनी प्रबंधन को दिया है।

अमर उजाला ने रास्ता भटके मुस्लिम लड़कों को आतंकी की तरह पेश करते हुए खबर प्रकाशित किया

हिंदी अखबार जाने कैसी कैसी गल्तियां करते रहते हैं. मुस्लिमों को आतंकी बताने / बनाने का काम आमतौर पर दैनिक जागरण करता है लेकिन इस बार अमर उजाला ने यही गल्ती की है. आज अयोध्या में लोगों ने अमर उजाला अखबार पढ़कर इसे बेहद गैर जिम्मेदाराना अखबार करार दिया. गलत खबर प्रकाशित करने से कई निर्दोष मुस्लिम युवकों के जीवन और करियर पर भी संकट के बादल छा गए हैं. हुआ ये कि आठ नौजवान मुस्लिम लड़के रास्ता भटक कर गलत दिशा में चले गए. ऐसे में पुलिस ने उन्हें संदिग्ध समझ कर पकड़ लिया.

न्यूज नेशन के वरिष्ठ संवाददाता अभिषेक के पिताजी राजेन्द्र नाथ पाण्डेय का स्वर्गवास

इलाहाबाद से खबर है कि न्यूज नेशन दिल्ली के वरिष्ठ संवाददाता अभिषेक पाण्डेय के पिताजी राजेन्द्र नाथ पाण्डेय का स्वर्गवास हो गया है… उनकी उम्र 71 साल थी.. वे पारकिन्शन की बीमारी से पीड़ित थे और लम्बे वक्त से उनका इलाज चल रहा था…  साल 2007 में वो मार्केटिंग इंस्पेक्टर के पद से रिटायर हुए …

अमर उजाला के संपादक के खिलाफ बुलंदशहर में एफआईआर दर्ज

बुलंदशहर नगर कोतवाली में अमर उजाला के संपादक के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गई है। सिंचाई विभाग के अवर अभियंता की तहरीर पर जिला प्रशासन की तरफ से यह एफआईआर दर्ज कराई गई। संपादक के खिलाफ आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन करने पर यह एफआईआर दर्ज कराई गई है।

पत्रकारों ने चलाया अभियान- मजीठिया नहीं तो भाजपा को वोट नहीं

कांग्रेस औऱ सपा के समर्थन में खड़े हुए कलम के सिपाही… लखनऊ। उत्तर प्रदेश के निकाय चुनाव में इस बार पत्रकारों की नाराजगी भाजपा के लिए भारी पड़ सकती है। पत्रकारों के मजीठिया वेज बोर्ड के मामले में सुप्रीम कोर्ट के 6 माह के टाइम बाउंड फैसला आने के बाद भी उत्तर प्रदेश का श्रम विभाग और श्रम न्यायालय पत्रकारों के प्रति सौतेला व्यवहार कर रहा है। अपनी जायज मांगों को पूरा न होता देख पत्रकारों ने भाजपा सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है।

बिहार में भारत की पहली बाल समाचार सेवा की हुई लॉन्चिंग

पटना/मुजफ्फरपुर  : बाल दिवस के अवसर पर आज मुजफ्फरपुर के गायघाट प्रखंड के जारंग हाई स्‍कूल में भारत की बच्चों की पहली समाचार सेवा (स्क्रैपी न्यूज सर्विस) की शुरूआत मुजफ्फपुर पूर्वी  के अनुमंडल अधिकारी श्री सुशील कुमार ने की। इस अवसर पर जिला शिक्षा पदाधिकारी श्री ललन प्रसाद सिंह, प्रखंड विकास पदाधिकारी श्री पंकज कुमार सिंह और प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी मो. इशा उपस्थित थे।

एनडीटीवी की वेबसाइट से राजीव मिश्र ने दिया इस्तीफा

एनडीटीवी की वेबसाइट से राजीव मिश्रा ने इस्तीफा दे दिया है. वे यहां बतौर न्यूज एडिटर कार्यरत थे. राजीव पिछले 10 सालों से एनडीटीवी से जुड़े रहे हैं. एनडीटीवी की वेबसाइट के लॉन्च के साथ ही राजीव का एनडीटीवी में सफर शुरू हुआ था जो अब समाप्त हो गया है. उन्होंने चार सदस्यों की टीम के साथ एनडीटीवीखबर की नींव रखने में अहम भूमिका निभाई थी.

मजीठिया मामला : सुप्रीम कोर्ट ने दैनिक भास्कर प्रबंधन को राहत देने से किया इनकार

धर्मेन्द्र प्रताप सिंह, लतिका चव्हाण और आलिया शेख के मामले में भास्कर प्रबंधन को लगा झटका

जस्टिस मजीठिया वेज बोर्ड मामले में मुंबई उच्च न्यायालय के एक आदेश के विरुद्ध सुप्रीम कोर्ट गए दैनिक भास्कर (डी बी कॉर्प लि.) अखबार के प्रबंधन को सुप्रीम कोर्ट ने राहत देने से इनकार करते हुए उसे वापस मुंबई उच्च न्यायालय की शरण में जाने के लिए मजबूर कर दिया है। यह पूरा मामला मुंबई में कार्यरत दैनिक भास्कर के प्रिंसिपल करेस्पॉन्डेंट धर्मेन्द्र प्रताप सिंह संग मुंबई के उसी कार्यालय की रिसेप्शनिस्ट लतिका आत्माराम चव्हाण और आलिया इम्तियाज़ शेख की मजीठिया वेज बोर्ड मामले में जारी रिकवरी सर्टीफिकेट (आरसी) से जुड़ा हुआ है… पत्रकार सिंह और रिसेप्शनिस्ट चव्हाण व शेख ने मजीठिया वेज बोर्ड को लेकर सुप्रीम कोर्ट के एडवोकेट उमेश शर्मा के मार्गदर्शन एवं उन्हीं के दिशा-निर्देश में कामगार आयुक्त के समक्ष 17 (1) के तहत क्लेम लगाया था।

नाकामी छुपाने के लिए 2019 चुनाव में राम मंदिर कार्ड खेलेगी भाजपा

राम मंदिर मुद्दे पर मोदी की गंभीरता को समझने में भारी भूल कर रहा मीडिया!  2014 में मोदी सरकार बनने के बाद से मीडिया में राम मंदिर पर चर्चा होती रही है। यूपी में बीजेपी की भारी जीत के बाद ये चर्चा आम हो गई है। अक्सर टीवी स्टूडियो में बैठे एंकर, पत्रकार, मुस्लिम धर्मगुरू, बुद्धिजीवी जब खुले तौर पर  मंदिर कब बनेगा या निर्माण की तारीख बताने जैसे असहज सवालों पर सरकार के प्रवक्ताओ को घेरने की कोशिश करते हैं तो शायद इन सभी महानुभावों को ये समझ मे नहीं आता कि अगर वाकई में इन्हें तारीख बता दी गयी तो इन्हें न्यूज़रूम से सीधे आईसीयू में भर्ती कराना पड़ेगा।

दैनिक जागरण जौनपुर के विज्ञापन प्रभारी शीतला प्रसाद मौर्य पर हमला

पत्रकार पर हुए हमले से पत्रकार संघ आक्रोशित… जौनपुर। जौनपुर पत्रकार संघ ने दैनिक जागरण के जिला विज्ञापन प्रभारी शीतला प्रसाद मौर्य पर हमले की निंदा कर आक्रोश व्यक्त किया है। संघ ने  दोषियों के विरुद्ध शीघ्र कार्यवाही की मांग किया है। इस सम्बंध में आयोजित संघ की बैठक अध्यक्ष ओमप्रकाश सिंह ने बताया कि कतिपय अराजक तत्वों ने रविवार की रात को श्री मौर्य को लाठी डंडे और लोहे के रॉड मारपीट कर घायल कर दिया था। पुलिस ने अभी तक घटना के दोषियों के विरुद्ध कोई कार्यवाही नही किया। जिससे पत्रकारों में आक्रोश है। बैठक का संचालन  महामंत्री डॉ मधुकर तिवारी ने किया।

छत्रपति सम्मान वरिष्ठ पत्रकार उर्मिलेश को

हरियाणा के शहीद पत्रकार रामचंद्र छत्रपति की स्मृति में दिया जाने वाला ‘छत्रपति-सम्मान’ इस वर्ष देश के जाने-माने वरिष्ठ पत्रकार और लेखक श्री उर्मिलेश को देने का फैसला हुआ है। हरियाणा के सिरसा में रामचंद्र छत्रपति शहादत दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित एक समारोह में 19 नवम्बर को यह सम्मान श्री उर्मिलेश को दिया जायेगा। उन्होंने इसके लिये अपनी सहमति भी दे दी है।  यह सम्मान हर वर्ष देश के किसी गणमान्य लेखक, पत्रकार या बुद्धिजीवी को दिया जाता है, जिसने समाज को बेहतर बनाने के प्रयासों में बौद्धिक या रचनात्मक योगदान किया हो।

Pakistan Press Foundation awards 19 investigative journalism fellowships

Karachi : The Pakistan Press Foundation has awarded 19 journalists from across Pakistan fellowships to pursue investigative stories on a range of social, political and economic issues. The fellows were selected from a pool of over 150 applicants in a rigorous selection process conducted by a panel of 17 reporters and editors who evaluated their pitches. The fellows come from all four provinces of Pakistan as well as its Federally Administered Tribal Areas, Gilgit-Baltistan and Azad Kashmir.

Senior member of Mumbai Press Club Somnath Patil passed away

Dear Members,

We regret to inform you that a senior member of Mumbai Press Club, Somnath Patil, passed away on Thursday, following a prolonged illness. Patil was 64. Patil worked in various newspaper organisations before retirement. He was involved in social and cultural activities. He served journalists’ organisations in various capacities.

टीएम कृष्णा यानि एक ऐसा शास्त्रीय संगीतकार जो सत्ता और कारपोरेट को चुनौती देता है

Ravish Kumar : टी एम कृष्णा हिन्दी जगत के लिए अनजान ही होंगे। मैं ख़ुद कृष्णा के बारे में तीन चार साल से जान रहा हूं, संगीत कम सुना मगर संगीत पर उनके लेख ज़रूर पढ़े हैं। टी एम कृष्णा कर्नाटिक संगीत के लोकप्रिय हस्ती हैं और वे इस संगीत की दुनिया का सामाजिक विस्तार करने में लगे हैं। उनकी किताब A SOUTHERN MUSIC-THE KARNATIK STORY हम जैसे हिन्दी भाषी पाठकों के लिए दक्षिण भारत के संगीत की दुुनिया खोल देती है। संगीत से लेकर मौजूदा राजनीति के बारे में उन्होंने काफी लिखा है जो इस वक्त TMKRISHNA.COM पर मौजूद भी है। कृष्णा कर्नाटिक संगीत सभा पर ऊंची जाति के वर्चस्व को लेकर काफी मुखर रहे हैं और कोशिश करते रहे हैं कि संगीत की इस दुनिया में दलित प्रतिभाएं भी स्थान और मुकाम पाएं। जिसके लिए उन्हें कर्नाटिक संगीत के पांरपरिक उस्तादों की काफी नाराज़गी भी झेलनी पड़ती है।

अकेले शराब पीने को हस्त मैथुन मानते थे रवींद्र कालिया

Dayanand Pandey : संस्मरणों में चांदनी खिलाने वाला रवींद्र कालिया नामक वह चांद… आज रवींद्र कालिया का जन्म-दिन है… ‘ग़ालिब छुटी शराब’ और इस के लेखक और नायक रवींद्र कालिया पर मैं बुरी तरह फ़िदा था एक समय। आज भी हूं, रहूंगा। संस्मरण मैं ने बहुत पढ़े हैं और लिखे हैं। लेकिन रवींद्र कालिया ने जैसे दुर्लभ संस्मरण लिखे हैं उन का कोई शानी नहीं। ग़ालिब छुटी शराब जब मैं ने पढ़ कर ख़त्म की तो रवींद्र कालिया को फ़ोन कर उन्हें सैल्यूट किया और उन से कहा कि आप से बहुत रश्क होता है और कहने को जी करता है कि हाय मैं क्यों न रवींद्र कालिया हुआ। काश कि मैं भी रवींद्र कालिया होता। सुन कर वह बहुत भावुक हो गए।

संस्मरण – देवेन्द्र शर्मा ‘इन्द्र’ जी : अभी मन भरा नहीं…

अवनीश सिंह चौहान

सुविख्यात साहित्यकार श्रद्देय देवेन्द्र शर्मा ‘इन्द्र’ जी (गाज़ियाबाद) से कई बार फोन पर बात होती— कभी अंग्रेजी में, कभी हिन्दी में, कभी ब्रज भाषा में। बात-बात में वह कहते कि ब्रज भाषा में भी मुझसे बतियाया करो, अच्छा लगता है, आगरा से हूँ न इसलिए। उनसे अपनी बोली-बानी में बतियाना बहुत अच्छा लगता। बहुभाषी विद्वान, आचार्य इन्द्र जी भी खूब रस लेते, ठहाके लगाते, आशीष देते, और बड़े प्यार से पूछते— कब आओगे? हर बार बस एक ही जवाब— अवश्य आऊँगा, आपके दर्शन करने। बरसों बीत गए। कभी जाना ही नहीं हो पाया, पर बात होती रही।

‘प्रताप’ की धरोहर को राष्ट्रीय स्मारक करार दे सरकार

कानपुर। राष्ट्रीय पत्रकारिता दिवस पर कानपुर प्रेस क्लब में राष्ट्रीय पत्रकारिता पर एक कार्यशाला आयोजित की गयी। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए अधिवक्ता और वरिष्ठ पत्रकार कैलाशनाथ त्रिपाठी ने कहा कि आज पत्रकारिता में असहमति की हत्या हो रही है। ये केरल में दक्षिणपंथी पत्रकार और कर्णाटक में वामपंथी पत्रकार की हत्याओं से साफ़ जाहिर है। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या आज की पत्रकारिता में असहमति के लिए जगह कम पड़ रही है, यह विचारणीय पक्ष है जहाँ पर हम में से हर एक पत्रकार को गौर करने की जरुरत है। गणेश शंकर विद्यार्थी और प्रताप की पत्रकारिता असहमति की पत्रकारिता है।

झारखंड में क्रांतिकारी नारे लगाने पर 800 अज्ञात और 12 को नामजद कर एफआईआर दर्ज

विशद कुमार,  गिरिडीह से

गिरिडीह : जनता से आखिर इतना डर क्यों? यह सवाल मजदूर संगठन समिति के केंद्रीय महासचिव बच्चा सिंह उस वक्त कर रहे हैं जब पिछले 7 नवंबर को महान बोल्शेविक क्रान्ति के सौवें वर्षगांठ पर झारखंड के गिरिडीह जिला के मुफस्सिल थाना अन्तर्गत चतरो में “महान बोल्शेविक क्रान्ति की शताब्दी समारोह समिति” झारखंड, के तत्वावधान में एक कार्यक्रम आयोजित किया गया, जिसमें क्षेत्र के लगभग 10 हजार लोगों ने भाग लिया। मंचीय कार्यक्रम के पूर्व एक रैली निकाली गई जो काफी शांतिपूर्ण तरीके से लगभग 5-6 कि.मी. की दूरी तय करते हुए वापस कार्यक्रम स्थल पर पहुंची और आयोजित समारोह भी काफी शांतिपूर्ण तरीके से सम्पन्न हुआ, जिसे सभी समाचार-पत्रों ने सहजता से छापा भी। बावजूद जिला प्रशासन ने रैली में शामिल लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया है जिसमें 800 अज्ञात तथा 12 लोगों को नामजद अभियुक्त बनाया गया है।

आपके पत्रकार ने मेरे खिलाफ खबर प्रकाशित करने से पूर्व मेरा पक्ष क्यों नहीं लिया?

सेवा में,
समूह संपादक महोदय,
राजस्थान पत्रिका
विषय- राजस्थान पत्रिका के पत्रकार द्वारा पेड न्यूज प्रकाशित करने व जबरन धमकाने बाबत्।
महोदय,

हरदोई पुलिस ने शांति भंग की आशंका में मीडिया कर्मियों और नौकरी पेशा लोगों को किया पाबंद

यूपी में हरदोई जिले की पुलिस का एक चौंका देने वाला कारनाम सामने आया है. पुलिस ने मीडिया सहित नौकरी पेशा लोगों को शांति भंग की आशंका में निरुद्ध किया है. लोगों के बीच यह चर्चा का विषय बन हुआ है कि कैसे नौकरी पेशा लोग पुलिस के लिए खतरा बन सकते हैं जिनका कोई आपराधिक इतिहास नहीं है. एक ही परिवार के चार चार लोगों को शांति भंग की आशंका में निरुद्ध किया गया है.

पैराडाइज पेपर्स में कई मीडिया मालिकों के नाम भी

Dilip Khan : पैराडाइज़ पेपर्स में कई मीडिया मालिकों के नाम हैं। शोभना भरतिया, सुभाष चंद्रा, राघव बहल, कलानिधि मारन, नवीन जिंदल। मीडिया में ये ख़बर क्यों चलेगी फिर? गड़ा हुआ कालाधन उखाड़कर दिखाने वाले ज़ी न्यूज़ के मालिक सुभाष चंद्रा का भी नाम पैराडाइज़ पेपर्स में है। महान देशभक्त सुधीर चौधरी ने इस पर …

पैराडाइज पैपर्स : साक्ष्यों का अपमान करती पत्रकारिता

विवेक शुक्ला

लोकतंत्र में मीडिया को अपने कामकाज को  निर्भीकता से करने की पूर्ण स्वतंत्रता मिलना स्वाभाविक है। सच्चा लोकतंत्र तब ही फल-फूल सकता है जब प्रेस की आजादी संदेह से परे हो। पर इमरजेंसी के काले दौर को छोड़कर  हमारे यहां कमोबेश सभी केन्द्र और राज्य सरकारें सुनिशिचित करती रही हैं कि किसी भी परिस्थिति में प्रेस की आजादी पर हमला ना हो। ये तो सिक्के का एक पहलू है। हाल के दौर में बार-बार देखने में आ रहा है कि कुछ अखबार, खबरिया टीवी चैनल और न्यूज वेबसाइट किसी व्यक्ति या संस्था के ऊपर ठोस और पुख्ता साक्ष्यों के बिना भी आरोप लगाने से नहीं चूकते।  इन्हें भारतीय सेना के पाकिस्तान में किए गए सर्जिल स्ट्राइक पर भी संदेश था। कुछेक मीडिया घराने रंगदारी में भी लिप्त रहते हैं विज्ञापन पाने के लिए। ये स्टिंग आपरेशन करके किसी अफसर, किसी निर्वाचित जनप्रतिनिधि या खास शख्स को बदनाम करने के बदले में पैसे की मांग करने से भी पीछे नहीं हटते। ये भारत की पत्रकारिता का नया मिजाज है। आप कह सकते हैं कि बीसेक  साल पहले तक हमारे देश के मीडिया में नहीं होता था।

पेंशन इजाफे के लिए पीएफ कमिश्‍नर के समक्ष दावा पेश करना वक्‍त का तकाजा

सुप्रीम कोर्ट ने सिविल अपील 10013-10014 ऑफ 2016 पर 4 अक्‍टूबर 2016 को दिया है आदेश

मजीठिया की मारामारी के इस दौर में यदि कोई मीडिया कर्मी पेंशन की बात करने लगे तो मीडिया सर्कल का बहुतायत आंखें तरेरने से गुरेज नहीं करेगा। वह सवालिया लहजे में तानेबाजी पर भी उतर जाए तो कोई असहज बात नहीं होगी। क्‍योंकि मजीठिया वेज बोर्ड की सिफरिशों पर किसी भी रूप में अमल नहीं हुआ है, मैनेजमेंट से इसके लिए जारी जंग अभी तक किसी मुकाम पर नहीं पहुंची है, और इसी दरम्‍यान कुछ लोग पेंशन का राग अलापने लगे हैं। निश्चित ही, यह प्रतिक्रिया स्‍वाभाविक होगी। वह क्‍यों पेंशन की मगजमारी में फंसेगा जिसे अब तक या इससे पहले कभी भी इतनी सेलरी-वेतन-पगार-मजदूरी नहीं मिली जिससे वह एक निश्चिंत जीवनयापन की कल्‍पना भी कर सके। वह तो ऐसे हालात में जीता है कि मिले-अर्जित मेहनताने से किसी तरह जीने की अनिवार्य वस्‍तुओं को हासिल कर पाता है। वह इसी उधेड़बुन में रहता है कि कब पगार की तिथि आए और सांसों को सहज ढंग से चलाने का सामान जुटा पाए। सेलरी राशि कब फुर्र हो जाती है, पता ही नहीं चलता।

नेहरू की पहल पर कांग्रेस में आईं थीं राजमाता सिंधिया

डॉ राकेश पाठक आज पं जवाहरलाल नेहरू का जन्म दिन है। आइये नेहरू के ग्वालियर से सरोकार की पड़ताल करते हैं। दरअसल रियासतों के विलय के बाद जब “मध्य भारत” राज्य बना तो तत्कालीन सिंधिया शासक जीवाजी राव सिंधिया नेहरू जी की ही सम्मति से “राज प्रमुख”(वर्तमान राज्यपाल समान पद) बनाये गए। आज़ादी के बाद …

भ्रष्टाचार की पोल खोलने वाले मीडिया ग्रुप को धमकी दिला रहे है नगर निगम अधिकारी

लखनऊ । भ्रष्टाचार की पोल खोल अभियान से घबराये नगर निगम अधिकारी और कर्मचारी अब बचाव छोड़ आक्रामक मुद्रा में आ गये है। इस पहल से परेशान नगर निगम के अधिकारी अब फर्स्ट आई न्यूज के कर्मचारियों और अधिकारियों को जान से मारने की धमकी भरे फोन तो करवा ही रहे है साथ ही कार्यालय पर गुण्डें भेजकर फर्स्ट आई के डायरेक्टर्स का पीछा भी करवा रहे है। लेकिन नगर निगम के अधिकारियों के इस तरह के दुस्साहस से डरे बगैर इस मीडिया हाउस ने तय किया है कि नगर निगम में जड़ तक अपनी पैठ बना चुके करप्शन को आम जनता और शासन सत्ता के सामने लाकर ही दम लेंगे और इस अभियान को आगे भी जारी रखेंगे। इसके लिए मीडिया हाउस ने सभी अधिकारियों और उनके चापलूसों के खिलाफ पर्याप्त सबूत जुटा लिये है। इस भ्रष्टाचार को जड़ से उखाड़ फेकने के लिए फर्स्ट आई की पूरी टीम कार्य कर रही है।

एमपी में अब मंत्रालय परिसर में धरना-प्रदर्शन पर लगेगा प्रतिबंध

मध्यप्रदेश का विधानसभा चुनाव जैसे-जैसे करीब आता जा रहा है वैसे-वैसे मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान का डऱ गहराते जा रहा है। इन दिनों वे हर उस आवाज को जो उनके विरोध में उठती है सत्ता की ताकत से कुचल देना चाहते है। शिवराज सरकार ने हाल ही में एक ऐसा तुगलकी फैसला लिया है जिसके चलते अब किसी भी व्यक्ति या संगठन को राजधानी के मंत्रालय परिसर में किसी भी प्रकार के धरना-प्रदर्शन की अनुमति नहीं होगी। लोकतंत्र में धरना-प्रर्दशन आमजन का हक होता है। लोकतंत्र में अपनी मांगों के समर्थन में अहिंसक तरीके से कानून के दायरे में रह कर धरना-प्रदर्शन इंसान का अधिकार है। गर यह अधिकार है तो इसकी हिफाजत की जवाबदेही भी सरकार की ही बनती है।

प्रेस क्लब आफ इंडिया इलेक्शन में मैनेजिंग कमेटी मेंबर के लिए भड़ास वाले यशवंत ने भरा पर्चा

इसी नवंबर महीने की पच्चीस तारीख को होने वाले प्रेस क्लब आफ इंडिया के सालाना चुनाव की गहमागहमी तेज हो गई है.  भड़ास फॉर मीडिया के संस्थापक और संपादक यशवंत सिंह ने शनिवार को अपना नामांकन दाखिल किया. यशवंत मैनेजिंग कमेटी के सदस्य पद हेतु चुनाव लड़ेंगे. दैनिक जागरण, अमर उजाला और आई-नेक्स्ट जैसे अखबारों में सब एडिटर से लेकर चीफ रिपोर्टर और संपादक पद पर आसीन रह चुके यशवंत फिलहाल कई न्यूज चैनलों और अखबारों के सलाहकार के रूप में भी कार्यरत हैं. साथ ही साथ वह दशक भर से भड़ास फार मीडिया के जरिए मीडिया इंडस्ट्री की अच्छी-बुरी हलचलों को जनता के सामने लाने का काम कर रहे हैं.

रेवेन्यू और टीआरपी में गिरावट के कारण ईटीवी से सैकड़ों कर्मियों की छंटनी की आशंका

इन दिनों ई टीवी न्यूज़ नेटवर्क में जबरदस्त हलचल मची हुई है… कई राज्यों में TRP में गिरावट के साथ साथ ही नेटवर्क के गिरते revenue के कारण जहाँ एडिटर्स पर दबाव है वहीँ एडिटोरियल स्टाफ पर भी छंटनी का खतरा मंडराया हुआ है… हैदराबाद और दिल्ली के ईटीवी स्टाफ के बीच यह चर्चा है कि revenue में गिरावट के कारण नेटवर्क 18 प्रबंधन खर्चों में कमी करने की सोच रहा है और इसके लिए हैदराबाद के साथ साथ ही देश के विभिन्न राज्यों में स्थित अपने एडिटोरियल स्टाफ में भी कमी करने पर विचार कर रहा हैं .. हालांकि बड़े लेवल के अधिकारियों के खर्चों पर कटौती होगी, ऐसा नहीं लग रहा क्योंकि हाल ही में नेटवर्क18 और ई टीवी के वरिष्ठ अधिकारीयों पर  गोवा में लीडरशिप प्रोग्राम के नाम पर बड़ी राशि खर्च की गई है…

ग्रामीण भारत में ‘ज़ी हिंदुस्तान’ की धमक

कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक, हर रोज, हर पल, हर हफ्ते कामयाबी की सीढियां चढ़ रहा है देश का नया  राष्ट्रवादी चैनल ज़ी हिन्दुस्तान. बात चाहे शहर की हो या गांव की, खास तबके की हो या फिर आम जन की… ज़ी हिन्दुस्तान खबरों को नए नजरिए से देश को दिखा रहा है. यही वजह है कि ज़ी हिन्दुस्तान नेशनल मीडिया में एक चुनौती बन कर उभरा है.

भाजपाई गुंडों ने दो टीवी पत्रकारों के साथ ये क्या कर दिया.. सुनिए पूरी कहानी…

Chander Mauli Sharma :  शायद अब मैं हिमाचल कभी जाऊँ…. जी हां, हम और हमारी टीम लगातार पिछले एक महीनें से डीपीआर से आज्ञा लेकर चुनावी कवरेज पर थे. सब कुछ अच्छा जा रहा था हिमाचल को बेहद करीब से देखा, जैसा सुना वैसा लगा भी. पर शायद मैं किसी भ्रम में ही था, या शायद कोई बुरा सपना जो परसों रात टूट गया. हम पावंटा साहिब में राहूल की रैली कवर कर के नाहन के लिए निकलें, क्यूँकि वहा भी सीएम राजा वीरभद्र की रैली थी. बहुत अच्छा जा रहा था और हम निकलनें वाले थे कि स्थानिय लोगों से पता चला यहां रात को शराब बंटती हैं. एक गज़ब की स्टोरी हमारे सामने थी, और हम सुबह से उस स्टोरी पर काम करना शुरू भी कर चुके थे।

मजीठिया मांगने पर भाजपा विधायक ने रिपोर्टर को अखबार के दफ्तर में घुसने से रोका, मामला पहुंचा पुलिस स्टेशन

मुंबई : खुद को उत्तर भारतीयों का रहनुमा समझने वाले भाजपा विधायक और हमारा महानगर अखबार के मालिक आरएन सिंह के अखबार में उत्तर भारतीय कर्मचारियों का सबसे ज्यादा शोषण किया जा रहा है। इस अखबार के सीनियर रिपोर्टर (क्राइम) केके मिश्रा को विधायक के पालतू गार्ड हमारा महानगर के दफ्तर में पिछले कुछ दिनों से नहीं घुसने दे रहे हैं।

आलोक श्रीवास्तव, कुमार भवेश चंद्र, अजीत पंवार, अमन चोपड़ा, वीरेंद्र सांघी, सतीश त्रिपाठी, रूप कुमार के बारे में सूचनाएं

आलोक श्रीवास्तव के बारे में सूचना है कि उन्होंने भास्कर ग्रुप की मैग्जीन अहा जिंदगी से इस्तीफा दे दिया है. वे काफी समय से इस मैग्जीन के संपादक के रूप में कार्यरत थे.

म्हाडा लॉटरी : मुंबई के २२ पत्रकारों को मिले फ्लैट… पर इनमें कितने हैं रीयल जर्नलिस्ट

मुंबई में अपना घर होने का सपना पालने वाले लोगों में पत्रकारों की संख्या भी लगातार बढ़ रही है। म्हाडा के ९१९ घरों की लॉटरी शुक्रवार को बांद्रा स्थित रंग शारदा में घोषित की गई। इसमें २२ फ्लैट पत्रकारों के लिये आरक्षित रखे गये थे। ८१९ घरों के लिए ६५००० लोगों ने अपनी किस्मत आजमाई थे, लेकिन सबका सपना पूरा नहीं हो सका। उन्हें अगली लॉटरी तक इंतजार करना पड़ेगा।

Naukari planet और Varchashav adventure नामक दो धोखेबाज कंपनियों से रहें सावधान

श्री मान सम्पादक महोदय, मैं रमाशंकर यादव हूं. मेरे पिता का नाम श्री जयराम यादव है. ग्राम- छिवर चक, पो.-धुरियापार, जिला-गोरखपुर का निवासी हूं. मैं इस भ्रष्ट व्यवस्था से त्रस्त हूं. यहॉं जिसको मौका मिलता है वह लूट ही लेता है. कई सारी फर्जी कम्पनियां कंटिया लगाए बैठी हैं. कोई न कोई मछली फंस ही जाती है. ऐसी दो कम्पनियों के बारे मे मैं लिखने जा रहा हूं जिसने हजारों लोगों को करोड़ों रुपये का चूना लगाया है…

65 employees sacked in Lokmat Group

The premier trade union of newspaper employees in Nagpur has membership in the leading chain of newspapers “Lokmat”(Marathi), “Lokmat Samachar” (Hindi) and “Lokmat Times” (English) spread throughout Maharashtra.  It is significant to note that even journalists are members of the Union.  It has a branch of the union at Goa too.  One Shri  who is working on contract basis was elected President of the Goa Unit.

मौन व्रत वाले सांसद ने अपना पत्र विज्ञापन के रूप में छपवाया है

Sanjaya Kumar Singh : प्रेस की स्वतंत्रता का भाजपाई अर्थ… अमित शाह के बेटे के खिलाफ खबर छपने पर 100 करोड़ का दावा और स्टे। हालांकि बहाल नहीं रह पाया। भाजपा के सबसे पैसे वाले सदस्यों में एक माने जाने वाले राजस्यसभा सदस्य का नाम पैराडाइज पेपर में आने पर एक सप्ताह का मौनव्रत और अगले ही दिन अखबारों के लिए विज्ञापन तैयार हो जाना – बताता है कि भाजपा के नेताओं के लिए प्रेस की स्वतंत्रता और अभिव्यक्ति की आजादी का अलग मतलब है। और इसे रोकने के लिए 40 साल पुराना मामला भी अचानक निकल सकता है। आइए, फिलहाल आरके सिन्हा का मामला देखें।

आरके सिन्हा का अख़बारों ने भावनात्मक दोहन किया है : रवीश कुमार

Ravish Kumar : क्यों छपी बीजेपी सांसद सिन्हा की सफाई विज्ञापन की शक्ल में… पैराडाइस पेपर्स में भाजपा के राज्य सभा सांसद आर के सिन्हा का भी नाम आया था। इंडियन एक्सप्रेस अख़बार ने उनकी सफाई के साथ ख़बर छापी थी। पैराडाइस पैराडाइस पेपर्स की रिपोर्ट के साथ यह भी सब जगह छपा है कि इसे कैसे पढ़ें और समझें। साफ साफ लिखा है कि ऑफशोर कंपनी कानून के तहत ही बनाए जाते हैं और ज़रूरी नहीं कि सभी लेन-देन संदिग्ध ही हो मगर इसकी आड़ में जो खेल खेला जाता है उसे भी समझने की ज़रूरत है। सरकार को भी भारी भरकम जांच टीम बनानी पड़ी है। ख़ैर इस पर लिखना मेरा मकसद नहीं है।

रजनी मोरवाल ने दूसरे का कंटेंट चोरी कर ‘हंस’ में अपने नाम से कहानी छपवा ली

Sushobhit Saktawat : बहुत खेद के साथ यह कह रहा हूं। कोई रजनी मोरवाल हैं। “हंस” में उनकी कहानी “महुआ” छपी है, जिसकी इधर बहुत प्रशंसा हो रही है। जान पड़ता है, यह पूरी कहानी उन्होंने सुशोभित की वॉल से रचनाएं चुरा-चुराकर बना डाली हैं। पूरे पूरे पैरेग्राफ़ उन्होंने उड़ा लिए हैं। रजनी की तो पुस्तकें तक छपी हैं, और एक अज्ञातकुलशील यह लेखक है, दिल्ली दरबार से दूर होने के कारण जिसका कुछ नहीं छपा। उल्टे उसकी लिखी चीज़ें चुरा ली जाती हैं। छी:, कितनी भद्दी बात!

प्रेस काउंसिल की तर्ज पर बने जर्नलिस्ट काउंसिल

इलाहाबाद। श्रृंग्वेरपुरधाम में हुए पत्रकार सम्मेलन में पत्रकारों का दर्द छलका। कहा गया कि हर महीने लाख-हजारों रूपए पगार उठाने, एयरकंडीशन दफ्तर और कंफर्टेबल चेयर पर बैठकर काम करने वाले पत्रकारों को श्रमजीवी पत्रकारों की श्रेणी में रखा गया है, पर देहात-कस्बों में बिना किसी पगार व सुविधा के कई साल से काम कर रहे पत्रकारों को श्रमजीवी पत्रकार का दर्जा नहीं दिया जाता। जबकि देश के अस्सी फीसदी हिस्से में ऐसे ही पत्रकार काम कर रहे हैं। ऐसे पत्रकारों के साथ भेदभाव कब तक किया जाएगा? पत्रकारों ने आवाज उठाई कि मौजूदा हालात के मद्देनजर प्रेस काउंसिल की तरह जर्नलिस्ट काउंसिल बनाया जाना चाहिए, जो केवल पत्रकारों के लिए कार्य करे।

धर्मशाला में नेटवर्क18 की टीम पर हमला

हिमाचल प्रदेश से खबर है कि धर्मशाला में विधानसभा चुनावों की कवरेज के दौरान मीडियाकर्मियों पर हमला हुआ है. धर्मशाला में एक लाइव कार्यक्रम से लौट रहे नेटवर्क18 के संवाददाता मृत्युंजय पुरी और उनके साथी वीडियो जर्नलिस्ट पर बीजेपी कार्यकर्ताओं ने हमला किया. ये लोग एक लाइव प्रोग्राम में हंगामे की सूचना मिलने पर घटनास्थल पर पहुंचे और कवरेज शुरू की थी. तभी वहां मौजूद बीजेपी के कार्यकर्ताओं ने न सिर्फ उनको कवरेज करने से रोका बल्कि विरोध करने पर कैमरा पर्सन से मारपीट की और कैमरा भी छीन लिया.

चौवालीसवें हफ्ते की नेशनल हिंदी न्यूज चैनलों की टीआरपी जानें

Weekly Relative Share: Source: BARC, HSM, TG:CS15+,TB:0600Hrs to 2400Hrs, Wk 44
Aaj Tak 15.5 dn 0.2
India TV 13.6 up 0.1
Zee News 12.3 dn 0.2
ABP News 12.1 up 0.6
News Nation 10.9 up 0.2
News18 India 10.7 dn 0.8
India News 9.3 up 0.3
News 24 8.2 dn 0.1
Tez 3.4 up 0.1
DD News 2.0 up 0.1
NDTV India 1.9 dn 0.2

निलेन्दु जयपुरियार ‘हिंदुस्तान’ से इस्तीफा देकर रांची एक्सप्रेस के रेजिडेंट एडिटर बने

हज़ारीबाग से खबर है कि हिंदुस्तान अखबार के हज़ारीबाग ब्यूरो चीफ निलेन्दु जयपुरियार ने 17 सालों की लंबी पारी के बाद नवम्बर 7 को इस्तीफा दे दिया। प्रबंधन उन्हें मनाने की कोशिश में लगा है पर श्री जयपुरियार ने साफ कर दिया कि वो अब वापस किसी भी परिस्तिथि में नही लौटेंगे। निलेन्दु जयपुरियार ने हिंदुस्तान को इस इलाके में नई ऊंचाई दी। निलेन्दु नई  पारी की शुरुवात रांची एक्सप्रेस के साथ कर रहे हैं, वो भी बड़े ओहदे के साथ।

सुर्जन सिंह यादव, सुधीर और चंद्रहाश कुमार शर्मा के बारे में सूचनाएं

अमर उजाला बरेली से संबद्ध बदायूं ब्यूरो कार्यालय से जुड़े दो मीडियाकर्मियों को हटाए जाने की सूचना है. इनमें एक रिपोर्टर और एक फोटोग्राफर शामिल हैं. इनके नाम हैं- रिपोर्टर सुर्जन सिंह यादव और फोटोग्राफर सुधीर. बताया जा रहा है कि चार नवंबर को बरेली संपादक विनीत सक्सेना ने तीनों को यूनिट आफिस बुलाया और वहां इनका इस्तीफा लिखवा लिया. चर्चा है कि किसी मिष्ठान भंडार से संबंधित खबर को दबाने को लेकर यह कार्रवाई की गई.

बरेली में कैनविज टाइम्स का प्रकाशन बन्द, ऑफिस में ताला लटका

बरेली से प्रकाशित हो रहे अखबार कैनविज टाइम्स के बारे में खबर है कि इसका प्रकाशन बंद कर दिया गया है. अखबार के आफिस में ताला लटका दिया गया है. सारे स्टाफ को चार नवंबर को सेलरी देकर विदा कर दिया गया. संपादक अनुपम मार्कंडेय तीन महीने पहले ही अखबार से रिजाइन कर चुके थे. …

प्रबंधन के रवैये से नाखुश जी पुरवैया के आरई कुमार प्रबोध समेत सात पत्रकारों ने दिया इस्तीफा

बिहार से खबर है कि जी पुरवैया के रेजिडेंट एडिटर कुमार प्रबोध और उनकी टीम ने जी मीडिया प्रबंधन के मुंह पर इस्तीफा दे मारा है. सूत्रों का कहना है कि जी मीडिया प्रबंधन लगातार बिजनेस टारगेट पूरा करने के लिए दबाव बनाए हुए था. प्रबंधन ने बिहार के लिए दस करोड़ रुपये का बिजनेस टारगेट दिया था. ऐसे में पत्रकारिता कर पाना संभव नहीं था. इसको देखते हुए कुमार प्रबोध ने अपनी पूरी टीम के साथ इस्तीफा दे दिया.

हिंदुस्तान झारखंड : कइयों का तबादला, कुछ की नौकरी गई

प्रभात खबर में कार्यरत क्राइम रिपोर्टर अमित चौधरी ने दैनिक हिंदुस्तान का दामन थाम  लिया है. संपादक बृजेंद्र दूबे के रांची तबादला होने के बाद यह प्रभात खबर के लिये झटका है. जीवेश रंजन सिंह के ज्वाइन करने के बाद यह बड़ी हलचल है. 

राकेश गुप्ता और मनोज बिसारिया ने ‘वणिक टाइम्स’ शुरू किया

जब कैशलेस सोसाइटी और बड़े-बड़े शॉपिंग मॉल की संस्कृति की आगोश में देश समा रहा है, ऐसे समय में गली-मुहल्ला और महानगरों, शहरों और कस्बों के बाजारों के छोटे और मझोले व्यवसायियों की दिन-प्रतिदिन की समस्याएं विकराल होती जा रही है. एक प्रकार पारंपरिक व्यापार सिमटते जा रहे हैं औऱ बड़े व्यावसायिक प्रतिष्ठान संगठित रूप से संरचना का निर्माण कर अंसंगठित को निगल रहा है. ऐसे में इनकी आवाज बनने की कोशिश के तौर पर सामने आई है मासिक पत्रिका ‘वणिक टाइम्स’.

मांगी तनख्वाह तो सूंघ गया सांप, रिपोर्टर को कर दिया बाहर

हाजीपुर। बिहार के वैशाली जिले में पत्रकारिता करनी है तो रिपोर्टर को अपने घर से पैसे लगाने होंगे। यहां पत्रकारिता का आलम ऐसा है कि प्रभारी फोन कर काम करने के लिए बुलाते है, मीठी-मीठी बाते कर ऐसा जताते है जैसे वह अखबार उनकी पुश्तैनी जायदाद है, लेकिन जब तनख्वाह मांगा जाता है तो प्रभारी के साथ-साथ एचआर, एडिटर, संपादक सहित सभी आला अधिकारीयों की बोलती बंद हो जाती है जैसे कोई सांप सूंघ गया हो।

ट्रिब्यून से प्रधान संपादक हरीश खरे का इस्तीफा

ट्रिब्यून अखबार से सूचना है कि इसके संपादक हरीश खरे ने इस्तीफा दे दिया है. ट्रिब्यून ट्रस्ट में जस्टिस (रिटा.) एस.एस.सोढ़ी की जगह जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल एन.एन.वोहरा को अब बतौर प्रेसीडेंट नियुक्त करने की भी खबर है. सूत्रों के मुताबिक ट्रिब्यून अखबार द्वारा पूर्व मंत्री बिक्रम सिंह मजीठिया से माफी मांगने के प्रकरण से संपादक …

बीएचयू छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष और वरिष्ठ पत्रकार चंचल गिरफ्तार

Satyendra PS : बीएचयू छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष, वरिष्ठ पत्रकार, समाजवादी चिंतक और अव्यवस्थाओं के खिलाफ आवाज उठाने वाले चंचल सिंह को 40 वर्ष पुराने मामले में बुधवार को गिरफ्तार कर लिया गया। कोर्ट के आदेश पर महराजगंज पुलिस ने उन्हें हिरासत में लेकर अपर मुख्य न्यायालय पंचम कोर्ट में पेश किया। चंचल पर 1978 …

जज की चिट्ठी के बाद मचा हड़कंप, दैनिक भास्कर ने छापा सात कॉलम का खंडन, खेद भी जताया

पिछले दिनों डीबी स्टार के रिपोर्टर के द्वारा जज पर दबाव डालकर फैसला अपने एक परिचित के पक्ष में देने को लेकर उपभोक्ता फोरम के जज इतने भड़क गए कि उन्होंने आईजी को पत्र लिख दिया कि इसके खिलाफ आपराधिक प्रकरण दर्ज किया जाए। इस खबर के भड़ास में छपने के बाद उच्च प्रबंधन हरकत में आया और बताया जा रहा है कि मामले में भास्कर की किरकिरी होते देख जज के घर संपादक और यूनिट हेड गए, ताकि उन्हें मैनेज किया जा सके। इतना ही नहीं, उन्होंने जज अशोक पाठक को आश्वस्त किया कि वे पुरानी खबरों का खंडन छापेंगे। मंगलवार को उसी डीबी स्टार में सात कॉलम में पुरानी खबरों का खंडन छापा है और एक बॉक्स में पुरानी खबरों के लिए खेद भी प्रकट किया है। भास्कर अपनी विश्वसनीयता की बात करता है, उसके इस खंडन से उसकी विश्वसनीयता पर सवाल खड़े होते हैं। संभवत: बिलासपुर में यह पहला मामला होगा, जिसमें भास्कर ने सात कॉलम में खंडन भी छापा और खेद भी प्रकट किया।

हाथरस के पत्रकार को जान से मारने की धमकी पर प्रेस कांउसिल गंभीर, नोटिस जारी

हाथरस । पत्रकार अनिल कश्यप को सितम्बर माह 2017 में एक कॉल सेन्टर संचालक द्वारा फोन पर गाली-गलौज बकते हुए जान से मारने की धमकी दिए जाने के मामले को गंभीरता से लेते हुए भारतीय प्रेस परिषद, नई दिल्ली (प्रेस कांउसिल आफ इंडिया) ने हाथरस के जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक, सी0ओ0 सिटी हाथरस एवं कोतवाली प्रभारी निरीक्षक जसपाल सिंह पवार सहित उत्तर प्रदेश सरकार के मुख्य सचिव एवं उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक व सचिव गृह (पुलिस) विभाग, उत्तर प्रदेश शासन लखनऊ एवं धमकी देने वाले काल सेंटर संचालक को लिखित वक्तव्य के लिए दो सप्ताह का समय देते हुए नोटिस जारी किया है।

मजीठिया पर सुप्रीम कोर्ट के आदेश का होगा अनुपालन, केन्द्रीय मंत्री ने पत्रकारों को दिया आश्वासन

केन्द्रीय स्वास्थ्य राज्यमंत्री अश्विनी कुमार चौबे और बिहार भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता राजीव रंजन प्रसाद ने मंगलवार को मीडियाकर्मियों को आश्वासन दिया कि जस्टिस मजीठिया वेज बोर्ड की अनुशंसा और सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के आलोक में वे पत्रकारों की भावना को सक्षम स्थान व नेतृत्व के समक्ष अवश्य रखेंगे। केन्द्रीय स्वास्थ्य राज्यमंत्री अश्विनी चौबे ने बिहार के गया जिले में पत्रकारों के समक्ष दावा करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी देश में किसी को भी दवा के अभाव में मरने नहीं देने को लक्षय रखा है।

डॉ राकेश पाठक को हेमंत स्मृति कविता सम्मान

नई दिल्ली। संवेदनशील कवि और वरिष्ठ पत्रकार डॉ राकेश पाठक को  प्रतिष्ठित “हेमंत स्मृति कविता सम्मान” देने  की घोषणा की गई है। हेमंत फाउंडेशन द्वारा स्थापित यह सम्मान उनके कविता संग्रह ” बसंत के पहले दिन से पहले” (दख़ल प्रकाशन से प्रकाशित )के लिए दिया जा रहा है। पुरस्कार समिति के संयोजक वरिष्ठ साहित्यकार भारत भारद्वाज ने यह घोषणा की।

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राजनीतिज्ञों का दोहरा चरित्र : विकास की बात, विवाद पर विश्वास

अजय कुमार, लखनऊ
राजनीति बिना शोहरत के नहीं चलती है और शोहरत बिना नाम और काम के नहीं मिलती है। सियासत के मैदान में वही नेता लम्ब समय तक टिका रहता है जिमसें धैर्य कूट-कूट कर भरा हो। अपमान का कड़वे से कड़वा घूंट पीने की क्षमता हो। यहां जनता की नब्ज को पकड़ कर चलना कामयाबी की कसौटी होती है तो समय की समझ सफलता का मापदण्ड होता है। इसी लिये राजनीति के मैदान में कूदने वाले तमाम नेता बहुत कुछ हासिल करने के बाद भी राजनैतिक शिखर पर नहीं पहुंच पाते हैं। यह वह नेता होता हैं जो राजनीति को शार्टकट से आगे बढ़ाने पर विश्वास रखते हैं और जब यह रास्ता चुनते हैं तो ऐसे नेताओं का विवादों से नाता जुड़ जाता है।

मनोज मनु नहीं दे रहे मेरा बकाया पैसा… सहारा समय के टीवी जर्नलिस्ट ने लिखा गौतम सरकार को पत्र

गौतम सरकार सर नमस्कार मेरा नाम तहसीन ज़ैदी है.. मैंने सहारा समय में साल 2003 से साल 2015 तक रहकर भोपाल, रायपुर, चंडीगढ़ और जयपुर में कोर्डिनेटर से लेकर ब्यूरो चीफ तक के पद पर पूरे 14 साल सेवा की है… मैं कंपनी को आधी सैलरी मिलने के बावजूद छोड़ना नहीं चाह रहा था लेकिन …

देसी गीत सुना इस बिदेसन ने बिहारियों का दिल जीता (देखें वीडियो)

अमेरिकी बाला क्रिएस्टिनो हिंदी नहीं बोल पातीं। लेकिन छठ का गीत ऐसा गाया कि हम भारतीयों का दिल जीत लिया। क्रिस्टिएनो पिछले दिनों बिहार में भटक रहीं थी। तभी महापर्व छठ इनकी नज़रों से गुजरा। छठ इतना पसंद आया कि इन्होंने छठ के लोकप्रिय देसी गीत को गाना सीख लिया। देखें क्रिएस्टिनो कैसे गा रही …

इसे कहते हैं मीडिया की ताकत, एम्स ऋषिकेश झुका

रोहिनी गुप्ते नामक एक अनाम सी महिला ने फेसबुक पर एक बड़ा मुद्दा उठाया. आखिर क्यों ऋषिकेश में बने एम्स में दिल्ली वाले एम्स से कई गुना ज्यादा रेट पर इलाज होता है? इस एफबी स्टेटस पर भड़ास4मीडिया, जनचौक समेत कई वेबसाइटों की नजर पड़ी. इन पोर्टल्स पर प्रमुखता से खबर छपने के साथ ही …

‘प्रतिनिधि’ न्यूज चैनल में सेलरी के लिए बवाल, एडिटर इन चीफ घिरे, पुलिस आई (देखें वीडियो)

‘प्रतिनिधि’ न्यूज चैनल वैसे तो दिन भर उपदेश देता रहता है, नैतिकता पिलाता रहता है, सिस्टम ठीक करने के लिए कमर कसे दिखता रहता है लेकिन बात जब खुद के चैनल के भीतर शोषण की आती है तो यहां भी हाल बाकियों जैसा ही दिखता है. खबर है कि इस चैनल के इंप्लाई कई महीने से बिना सेलरी काम कर रहे हैं. एक रोज उनका धैर्य जवाब दे गया. कहा जा रहा है कि चैनल के एडिटर इन चीफ जब बिना सैलरी दिए सामान लेकर जा रहे थे तो कर्मचारियों ने उन्हें रोक लिया और खुद के बकाया पैसे की बात की.

PRESS COUNCIL CHAIRMAN DECLARES COMMITTEE DECISIONS ULTRA VIRES

Dubious Associations recognized, Eligibility Rules Breached
Chairman’s dissent note renders 13th PCI illegitimate
IFWJ urges President to intervene
Legal issues decided not by rules, but by vote

NEW DELHI : Justice C.K. Prasad, chairman of the Press Council of India and a former judge of the Supreme Court, has declared the PCI scrutiny committee ultra vires. The chairman’s judgment is : “The recommendation of the Scrutiny Committee, as approved by majority the Press Council, suffers from the vice of procedural and substantive ultra vires.” The full text can be seen on PCI website.
The Press Council, (for notification by the Ministry of Information and Broadcasting, for the 13th term) had finalized its recommendations at its last meeting at Srinagar (Kashmir) on 9 October 2017.

रोहित सरदाना ‘आजतक’ और कुमार अंबुजेश ‘एबीपी न्यूज’ पहुंचे

जी न्यूज से इस्तीफा दे चुके पत्रकार रोहित सरदाना आजतक चैनल से जुड़ गए हैं. वे आजतक पर भी शाम 5 बजे के स्लॉट देखेंगे. रोहित के लिए ‘आजतक’ पर शाम पांच बजे का नया शो शुरू किया जा रहा है, ”दंगल : बहस का राजनीतिक अखाड़ा” नाम से.  रोहित सरदाना जी न्यूज में सीनियर एंकर के साथ-साथ आउटपुट एडिटर भी हुआ करते थे. वे करीब दस साल से जी ग्रुप के साथ थे. उनका जी न्यूज में ‘ताल ठोक के’ डिबेट शो काफी चर्चित था और टीआरपी में नंबर वन था जिसके कारण आजतक प्रबंधन को रोहित को अपने यहां ज्वाइन कराने को मजबूर होना पड़ा. रोहित ईटीवी, सहारा समय में भी काम कर चुके हैं.

प्रेस क्लब आफ इंडिया के चुनाव घोषित, 13 तक नामांकन, 25 को पड़ेंगे वोट

प्रेस क्लब आफ इंडिया का चुनाव घोषित कर दिया गया है. 13 नवंबर तक नामांकन कर सकते हैं. 25 नवंबर को वोट पड़ेंगे और 26 नवंबर को नतीजे आएंगे. इस बारे में जो नोटिस पीसीआई के सूचना पट पर चिपकाया गया है, वह इस प्रकार है-

प्रेस क्लब आफ इंडिया के नाकारा प्रबंधन से नाराज भड़ास संपादक यशवंत ने चुनाव लड़ने का दिया संकेत

Yashwant Singh : गजब है प्रेस क्लब आफ इंडिया. दूर के ढोल सुहावने वाला मामला इस पर पूरी तरह फिट बैठता है. दिल्ली के रायसीना रोड पर स्थित प्रेस क्लब आफ इंडिया का नाम सुनने पर वैसे तो दिमाग में एक अच्छी-खासी छवि बनती-उभरती है लेकिन अगर आप इसके मेंबर बन गए और साल भर आना-जाना यहां कर दिया तो आपको यह किसी मछली बाजार से कम न लगेगा. हर साल चुनाव होते हैं. प्रेस क्लब को अच्छे से संचालित करने के वास्ते पदाधिकारी चुने जाते हैं लेकिन लगता ही नहीं कि यहां कोई संचालक मंडल भी है या कोई पदाधिकारी भी हैं. दो उदाहरण देते हैं. प्रेस क्लब आफ इंडिया का चुनाव डिक्लेयर हो गया है. इस बाबत कुछ रोज पहले प्रेस क्लब के सूचना पट पर नोटिस चिपका दिया गया. लेकिन यह सूचना मेल पर नहीं भेजी गई. मुझे तो नहीं मिली. अब तक नहीं मिली है.

पैराडाइज पेपर्स ने फोर्टिस-एस्कॉर्ट्स के चेयरमैन डॉ अशोक सेठ की अनैतिकता और लालच का किया खुलासा

सिंगापुर की स्टेंट बनाने वाली कंपनी ने डा. अशोक सेठ को अपने शेयर दिए और डॉ. सेठ ने अपने मरीजों को यही स्टेंट लगवाने की सिफारिश की.. इस तरह प्राप्त शेयरों से लाभ कमाया.. कंपनी का नाम बायोसेंसर्स इंटरनेशनल ग्रुप है… यह मामला चिकित्सा पेशे में शीर्ष स्तर की अनैतिकता और लालच को दर्शाता है …

जयंत सिन्हा, ईबे, पियरे ओमिडयार, नरेंद्र मोदी और बाहरी पूंजी का भारतीय चुनाव में खुला खेल!

ओमिडयार नेटवर्क को लेकर पांडो डॉट कॉम पर प्रकाशित खबर के जयंत सिन्हा वाले हिस्से का पूरा हिंदी अनुवाद वरिष्ठ पत्रकार और अनुवादक संजय कुमार सिंह के सौजन्य से पढ़ें…

केंद्र में नरेन्द्र मोदी की सरकार बनने के बाद pando.com पर Mark Ames ने 26 मई 2014 को लिखा था- “भारत में चुनाव के बाद एक कट्टरपंथी हिन्दू सुपरमैसिस्ट (हिन्दुत्व की सर्वोच्चता चाहने वाले) जिसका नाम नरेन्द्र मोदी है, को सत्ता मिल गई है। इसके साथ ही व्हाइट हाउस के प्रवक्ता जय कारने (यहां भी जय) ने कहा है कि ओबामा प्रशासन एक ऐसे व्यक्ति के साथ “मिलकर काम करने का इंतजार कर रहा है” जो अल्पसंख्यक मुसलमानों (और अल्पसंख्यक ईसाइयों) के घिनौने जनसंहार में भूमिका के लिए 2005 से अमेरिकी स्टेट डिपार्टमेंट (विदेश विभाग) के वीजा ब्लैकलिस्ट में है।

गुजरात में छाया ‘ज़ी हिंदुस्तान’, व्यूवरशिप में दस लाख का इजाफा

देश की नई आवाज बन रहा है ‘ज़ी हिन्दुस्तान’. हर रोज नया ट्रेंड सेट कर रहा है ‘ज़ी हिन्दुस्तान’. यह न्यूज चैनल अपनी पंच लाइन ‘स्टेट्स मेक द नेशन’ को साकार करते हुए शहर से लेकर गांव तक की ख़बरों से सराबोर है. ‘ज़ी हिन्दुस्तान’ ने थोड़े ही समय में नेशनल मीडिया के बीच अपना अलग मुकाम बना लिया है. यह एक नया राष्ट्रवादी चैनल है जो राष्ट्र और राष्ट्रीयता की बात करता है.