मेरठ से छपने वाले बड़े अखबारों के संपादकों में आपस में डील क्या हुई थी, उन्हें बताना पड़ेगा

Yashwant Singh : कल एक फोटो जर्नलिस्ट का फोन मेरठ से आया. वो बोले- भाई साहब, प्रिंट मीडिया के संपादकों ने मीडिया की इज्जत बेच खाई है, आप ही कुछ करो. मैं थोड़ा चकित हुआ. पूरा मामला जब उनने बताया तो सच कहूं, मैं खुद शर्म से गड़ गया. मेरठ में हिंदुस्तान अखबार के फोटोग्राफर को ड्यूटी करने के दौरान पुलिस वालों ने पकड़कर हवालात में बंद कर दिया, फर्जी मुकदमें लिख दिए. लेकिन एक लाइन खबर न तो हिंदुस्तान अखबार में छपी और न ही दूसरे स्थानीय अखबारों में.

मेरठ, मोदी, मनुष्य और मस्ती : कहीं आप रोबो मशीन तो नहीं!

Yashwant Singh :  मेरठ आया हुआ हूं. कल जब बस से उतरा तो पुरानी यादों के सहारे शार्टकट मार दिया. वो मटन कोरमा और काली मिर्च चिकन की खुश्बू को दिलों में उतारते, उस दुकान के सामने खड़े होकर कुछ वक्त उसे निहारते. फिर एक तंग गली में चल पड़ा. रिक्शों, आटो वालों को मना करते हुए कि मुझे पैदल ही जाना है. चलता रहा. कई दिन से दाढ़ी बढ़ी हुई थी. दाएं बाएं देखता रहा और वर्षों पुरानी मेरठ की यादों को ताजा करते हुए पैदल चलता रहा.

दैनिक जागरण मेरठ में भगदड़, कई गए, कई जाने को तैयार, भ्रष्टाचार में डूबे चापलूसों की चांदी

मेरठ दैनिक जागरण इन दिनों अस्‍थिरता और संक्रमणकाल से गुजर रहा है। हालात ऐसे बन पड़े हैं कि काम करने वाले गंभीर पत्रकार जागरण मेरठ को नमस्‍ते करने को मजबूर हैं। जहां कई संजीदा पत्रकार जागरण को अलविदा कह चुके हैं, वहीं कई नए-पुराने काबिल कर्मचारी भी यही राह पकड़ने की असमंजस में हैं। मालिकान और उनके शीर्ष सहयोगियों की अयोग्यता अब यहां के मीडिया कर्मियों के सिर चढ़ कर बोलने लगी है। भ्रष्ट चापलूसों से ज्यादातर कर्मी आजिज आने लगे हैं। 

जगेंद्र हत्याकांड पर मेरठ के पत्रकार गुस्से में, काली पट्टी बांधकर सत्याग्रह

मेरठ : यहां के पत्रकारों में शाहजहांपुर के पत्रकार जगेंद्र सिंह की हत्या से जबरदस्त गुस्सा है। पत्रकारों का सत्याग्रह शुरू हो गया है। इसी क्रम में शुक्रवार 12जून को पूर्वाह्न 11 बजे शहर के लगभग सभी प्रमुख पत्रकार और मीडियाकर्मचारी जिला कलेक्ट्रेट में जुटे। 

मेरठ हिंदुस्तान को झटका देकर अमर उजाला पहुंचे सर्वेंद्र

हिन्दुस्तान मेरठ के स्थानीय संपादक सूर्यकांत द्विवेदी को अपनी मनमानी का बड़ा खामियाजा भुगतना पड़ा है। मुजफ्फरनगर में स्ट्रिंगर रहे सर्वेंद्र पुंडीर को प्रमोट करके सब एडिटर बनाया। इसके बाद बिजनौर से हर्यंश्व सिंह सज्जन को हटाकर सर्वेंद्र को वहां का ब्यूरो चीफ बनाया। सूर्यकांत के इस कदम का हिन्दुस्तान के भीतर जमकर विरोध हुआ था।

सोशल मीडिया से निपटने के लिए यूपी सरकार मेरठ और लखनऊ में स्थापित करेगी दो लैबोरेट्रीज

लखनऊ : अखिलेश यादव सरकार सोशल मीडिया पर लखनऊ और मेरठ में दो लैबोरेट्रीज स्थापित करने जा रही है। पुलिस इनके माध्यम से सोशल मीडिया कंटेंट पर नजर रखेगी। 

जान लेने के लिए हैवान ने रिपोर्टर को खिलाया शीशा और सिंदूर

भले ही मकसद किसी बात के प्रतिशोध का भी क्यों न हो, सोचकर हैरत होती है कि क्या कोई इस हद तक नीच हो सकता है ! मेरठ में ‘इंडिया न्यूज’ के रिपोर्टर रजनीश चौहान के साथ जितनी क्रूरतापूर्ण घिनौनी हरकत हुई है, वह किसी भी जानने-सुनने वाले को झकझोर सकती है। वह इन दिनो किसी नीच व्यक्ति की दी हुई असहनीय पीड़ा से कराह रहे हैं। कुछ समय पहले उसने किसी दिन शातिराना तरीके से चुपचाप खाद्य पदार्थ में पीसा हुआ शीशा और सिंदूर मिलाकर राजेश को खिला दिया था। उन्हें खुद नहीं मालूम कि उनके साथ ये हरकत कब, किसने कर डाली। 

लाठीचार्ज की फोटो खींचने पर पुलिस ने रिपोर्टर को पीटा तो जागरण ने मदद की बजाए उल्टे नौकरी से निकाल दिया

मेरठ के लिसाड़ी गेट पर पिछले दिनो पुलिस जब लोगों पर लाठिया भांज रही थी, दैनिक जागरण के रिपोर्टर रिजवान खान उस दृश्य को अपने कैमरे में कैद करने लगे। इस पर एसओ लिसाड़ी गेट और कुछ पुलिसकर्मियों ने उनसे पहले तो हाथापाई और मारपीट की, फिर लॉकअप में ठूंस दिया। बाद में पुलिस अधिकारियों के हस्तक्षेप पर उन्हें छोड़ दिया गया। इसमें सबसे शर्मनाक भूमिका जागरण प्रबंधन की रही। रिजवान खान को मदद करने की बजाए उल्टे नौकरी से हटा दिया गया।