4पीएम पर हमले के तुरंत बाद सक्रिय हो गए लखनऊ से लेकर दिल्ली तक के पत्रकार

Sanjay Sharma : कल मेरे दफ़्तर पर जो हुआ उसका सपने में भी अंदाज़ा नहीं था मुझे.. गोमती नगर जैसे पॉश इलाके में दिन के साढ़े तीन बजे दो गाड़ियों मे भरकर लोग अख़बार के दफ़्तर पर भी हमला कर सकते हैं, इसका अंदाज़ा किसी को नहीं था. जिस समय हमला हुआ आम तौर पर उस समय दफ़्तर पर ही रहता हूँ पर कल सीएम को बोलना था तो मैं विधानसभा में था. मगर सूचना मिलते ही जिस तरह पत्रकार साथी मेरे साथ आये, उसने मेरे हौसलों को और बढ़ा दिया..

संजय शर्मा का ‘वीकएंड टाइम्स’ पहुंचा उत्तराखंड, सीएम ने अपने आवास पर किया विमोचन

लखनऊ के चर्चित पत्रकार संजय शर्मा का नया पड़ाव देहरादून है. यूपी के लखनऊ से वीकएंड टाइम्स का प्रकाशन करने और इसे सफलता पूर्वक स्थापित करने के बाद उन्होंने अखबार का उत्तराखंड एडिशन लांच कर दिया है. वीकएंड टाइम्स उत्तराखंड एडिशन की लांचिंग देहरादून में मुख्यमंत्री निवास पर आयोजित एक भव्य समारोह में हुआ. इस समारोह में खुद सीएम हरीश रावत ने अखबार को अपने हाथों लांच किया.

पाक्षिक प्रतियोगी पत्रिका ‘नया लक्ष्य’ ने छह माह में चार राज्यों में ग़ज़ब की प्रसार संख्या हासिल कर ली

Sanjay Sharma : कभी कभी नए जोखिम लेना कितना फायदेमंद हो जाता है, आजकल इसको बखूबी महसूस कर रहा हूँ मैं. छह महीने पहले जब मैंने घोषणा की थी कि एक बहुत अच्छी प्रतियोगी पाक्षिक पत्रिका शुरू करने जा रहा हूँ तो कई साथी चौंक गए थे. सबने कहा- क्यों जोखिम ले रहे हो. बारह साल से वीकएंड टाइम्स ने देश के सबसे गंभीर वीकली के रूप में अपनी जगह बना ली है. 4PM की ब्रांडिंग और लोगों के उसके प्रति दीवानेपन से तो मेरे करीबी ही मुझसे जलन करने लगे हैं. ऐसी तमाम बातें मुझे समझायी जा रही थीं और मेरा जूनून बढ़ता जा रहा था.

जिम कॉर्बेट जंगल में उग्र हाथियों के पैरों तले कुचले जाने से बाल-बाल बचे पत्रकार संजय शर्मा और उनके परिजन

Sanjay Sharma : रामनगर के खूबसूरत रिजोर्ट में बैठ कर जब हमने जिम कॉर्बेट जंगल की सफारी करने की सोची तब हमे सपने में भी अंदाजा नहीं था कि यह सफारी जिंदगी के सबसे रोमांच का हिस्सा बन जाएगी. रिजोर्ट के मैनेजर ने बताया कि जंगल के मुख्य चार रास्तों की बुकिंग ऑनलाइन होती है जिसकी कीमत दो हजार रुपया होती है मगर अगले दस दिन की बुकिंग पूरी हो चुकी है. रामनगर के सहारा समय टीवी चैनल के मित्र ने भी कोशिश की मगर कामयाबी नहीं मिली. फिर थोड़ी कोशिशें और की गईं और एक ट्रेवल एजेंट 6 हजार में राजी हो गया. हम झिरना गेट से जंगल में घुसे. उससे पहले झमाझम बारिश से मौसम सुहाना हो गया था. जंगल का रास्ता पतला और काफी टूटा फूटा है.

ऊर्जा के क्षेत्र में यूपी ने किया शानदार काम, जल्द ही देंगे 24 घंटे बिजली : आलोक रंजन

लखनऊ : यूपी के मुख्य सचिव आलोक रंजन ने अपने दो साल के कार्यकाल में विकास के नये कीर्तिमान स्थापित किये। जब उन्होंने कार्यभार संभाला तो नौकरशाहों की लापरवाही के चलते विकास कार्य बहुत प्रभावित हो रहे थे। ऐसे में उन्होंने खुद कमान संभाली और जिले के दौरे शुरू किये।  गांव-गांव जाकर विकास कार्यों की हालत उन्होंने खुद देखा। यही कारण था कि दो साल के भीतर विकास कार्यों में खासी तेजी आयी। श्री रंजन ने आईआईएम अहमदाबाद जैसे प्रतिष्ठित संस्थान से एमबीए की डिग्री लेने के बाद 1978 में उन्होंने आईएएस की परीक्षा उत्तीर्ण की। उन्होंने बेहद लोकप्रिय दो किताबें भी लिखीं। श्री रंजन अपने विनम्र स्वभाव के लिए बेहद लोकप्रिय हैं। श्री रंजन की कार्य कुशलता का ही परिणाम था कि मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने उनके रिटायर होने के बाद उन्हें तीन महीने का सेवा विस्तार दिया। श्री रंजन ने अपनी जिन्दगी के कई पहलुओं पर 4पीएम के संपादक संजय शर्मा से विस्तार से बातचीत की। पेश हैं उसके अंश…

अगर अराजक होने से सच सामने आता है तो मैं हूं अराजक : यशवंत

भड़ास4मीडिया के संस्थापक और संपादक यशवंत सिंह पिछले दिनों लखनऊ में थे. इस दौरान उनकी वीकेंड टाइम्स और 4पीएम अखबारों के संपादक संजय शर्मा से मुलाकात हुई. संजय ने यशवंत के लखनऊ में होने का फायदा उठाते हुए उनका विस्तृत इंटरव्यू कराया. 4पीएम की स्थानीय संपादक प्रीति सिंह ने यशवंत से ढेर सारे सवाल पूछे और यशवंत ने पूरी बेबाकी से जवाब दिया.

‘नया लक्ष्य’ अखिलेश के हाथों लांच कराने वाले संजय ने लखनऊ के पत्रकारों को दिखाया उद्यमिता और सफलता का चरम लक्ष्य

शानदार, शानदार और शानदार… ‘नया लक्ष्य’ और संजय शर्मा के लिए सिर्फ यही कहा जा सकता है. लखनऊ की पत्रकारिता में संजय ने वो मुकाम हासिल कर लिया है जहां तक पहुँचना असंभव नहीं तो मुश्किल बहुत है. संजय की पत्रकारिता उन लोगों के लिए प्रेरणा जरूर बन सकती है जो अपने दम पर कुछ करना चाहते हैं. दस साल पहले जब संजय ने वीकएंड टाइम्स शुरू किया था तब लोगों ने इसे हलके में लिया था मगर इस साप्तहिक ने देश भर में अपनी अच्छी रिपोर्टिंग से एक ख़ास मुकाम बना लिया. मई में संजय ने अपना अखबार 4PM लॉन्च किया और छह महीने में ही इस अखबार ने लोकप्रियता के वो रिकॉर्ड बना लिए जिसके लिए लोग तरसते हैं.

दस जनवरी से ‘नया लक्ष्य’ नाम से कंपटीशन मैग्जीन निकालेंगे संजय शर्मा

Sanjay Sharma : मैंने सोचा आप सबको नये साल की शुभकामनाओं के साथ एक अच्छी सूचना भी दी जाये.. 4 PM और वीकएंड टाइम्स को आपने जितना प्यार दिया उसके लिये मैं आपका आभारी हूँ. एक दैनिक सांध्य और एक साप्ताहिक अखबार के बाद अब दस जनवरी से एक प्रतियोगी पाक्षिक पत्रिका ‘नया लक्ष्य’ निकालने …

यूपी में रातोंरात रजिस्टर्ड हुई नई एड कंपनी को करोड़ों का काम मिला और खेल मंत्री का गलत नाम छपवा दिया

लखनऊ : कुछ रोज पहले लखनऊ के सभी प्रमुख अखबारों ने पहले पन्ने पर फुल पेज का एक विज्ञापन छापा। विज्ञापन खेल से सम्बन्धित था और ऊपर ही मुख्यमंत्री के साथ खेल मंत्री नारद राय की फोटो छपी थी। विज्ञापन छपते ही लखनऊ में हडकंप मचा कि नारद राय खेल मंत्री कब बन गये। यह महत्वपूर्ण आयोजन था और सीएम का पसंदीदा विषय भी। इतने बड़े आयोजन में पहले पन्ने पर इतनी बड़ी चूक ने बता दिया कि यूपी के अफसर इतने काबिल हैं कि उन्हें नहीं पता कि यूपी का खेल मंत्री कौन है।

यूपी में एक सजायाफ्ता अफसर करता है बाकी अफसरों की पोस्टिंग

लखनऊ। मुख्यमंत्री अखिलेश यादव लम्बे समय के बाद उन तेवरों में दिखे जिनमें लोग उन्हें देखना चाहते हैं। कल के अपने दौरे पर खनन की शिकायतों पर उन्होंने इलाहाबाद के कमिश्नर से पूछा कि क्या पैसे देकर हुई है पोस्टिंग और जवाब न मिलने पर कमिश्नर को सस्पेंड कर दिया। मगर तस्वीर का एक और पहलू भी है। प्रदेश भर के अफसरों की नियुक्ति प्रमुख सचिव नियुक्ति करता है। यह इस प्रदेश का दुर्भाग्य है कि इस समय प्रमुख सचिव नियुक्ति खुद घोटालों में तीन साल की सजा पाया हुआ अपराधी है। पूरे देश में उत्तर प्रदेश ही एक मात्र ऐसा राज्य है जहां अफसरों की तैनाती का फैसला एक सजायाफ्ता मुल्जिम कर रहा है। अब जब अपराधी ही तय करेगा कि किस जिले में कौन अफसर तैनात हो तो जाहिर है सूबे के अफसरों का मिजाज तो बिगड़ेगा ही।

लखनऊ वाले पत्रकार संजय शर्मा ने अखिलेश यादव के लिए इमानदारी का सर्टिफिकेट जारी किया

Yashwant Singh : संजय शर्मा मित्र हैं. कई वर्षों से. उनके घर मेरा आना जाना है. दुख सुख के साथी रहे हैं. बदायूं से चलकर लखनऊ में जमने की उनकी कहानी प्रेरणादायी है. अपने दम पर आगे बढ़े हैं यानि सेल्फ मेड हैं. एक जमाने में सहारा के रिपोर्टर हुआ करते थे. अब लखनऊ के वरिष्ठ पत्रकारों में से एक. प्रिंटिंग मशीन के मालिक हैं. वीकएंड टाइम्स नामक अपना अखबार निकालते हैं. मायावती जब यूपी की मुख्यमंत्री हुआ करती थीं तो संजय भाई सत्ता के पोलखोल के जरिए सीधे सीएम साहिबा से पंगा ले लिया करते थे. उनकी सरोकारी सक्रियता देखने लायक हुआ करती थी.

जो सौ दिन में काल धन लाने का सपना दिखा रहे थे वो बेइमानों के साथ खड़े हो गए

Sanjay Sharma : जो सौ दिन में काल धन लाने का सपना दिखा रहे थे वो बेईमानों के साथ खड़े हो गए. कह रहे थे संधि के मुताबिक सूची नहीं दी जा सकती … सुप्रीम कोर्ट ने फटकारा तो नानी याद आई.. आज 627 लोगों की सूची दी.. लिफाफा बंद है तो भक्त लोग इतना खुश हो रहे हैं मानो किला ही फतह कर लिया.. बात सही भी है… लिफाफा खुल जाता तो भक्तों और उनके आकाओं को मुंह दिखने लायक कुछ भी नहीं बचता… जिन तीन नाम को बता कर सरकार बहुत खुश हो रही थी उनमें से 2 नामों का खुलासा अरविन्द केजरीवाल एक साल पहले ही कर चुके थे… वैसे मोदी सरकार की भी मज़बूरी है और अब समझ आ रहा है कि नामों का खुलासा क्यों नहीं कर रही थी सरकार… दरअसल जिन तीन नामों का पता चला उनमें एक राधा ने कांग्रेस को पैसठ लाख और बीजेपी को एक करोड़ अठारह लाख रुपया का चंदा दिया था… इन बेशर्मों को शर्म भी नहीं आती ऐसे कालाबाजारियों से पैसा लेकर जनता को मूर्ख बनाते हुए…

27 सितंबर से लखनऊ में शुरू होगा ‘मिड डे एक्टिविस्ट’, भर्तियों के लिए विज्ञापन जारी

लखनऊ में पहली बार मीडिया के दो दिग्गजों का प्रयोग 27 सितंबर से  शुरू हो रहा है। ‘समाचार प्लस’ (न्यूज चैनल) के मालिक उमेश कुमार और ‘वीकएंड टाइम्स’ (समाचार पत्र) के मालिक संजय शर्मा के संयुक्त प्रयास से 27 सितंबर से लखनऊ में सांध्य दैनिक ‘द मिड डे एक्टिविस्ट’ की शुरुआत हो रही है। 27 सितंबर को इसका विमोचन मुख्यमंत्री अखिलेश यादव कर रहे हैं। लखनऊ भर में जबरदस्त तरीके से जिस आक्रामक अंदाज में अखबार का प्रचार किया जा रहा है उससे लग रहा है कि लखनऊ के लोगों को एक नये तेवर वाला सांध्य दैनिक मिल सकेगा।